अधर में ही लटकी हुई हैं कर्मियों की समस्याएं
सांकतोड़िया : कोल इंडिया एपेक्स जेसीसी एवं मानकीकरण समिति की 30 जनवरी को प्रस्तावित बैठक एकाएक स्थगित कर दी गई. इससे कर्मियों की समस्याओं का निराकरण एक बार भी फिर लटक गया. प्रबंधन ने इस बैठक में उत्पादन, उत्पादकता व डिस्पैच संबंधित मुद्दे शामिल किए थे. वहीं श्रमिक नेताओं ने ग्रेच्युटी, पोस्ट रिटायरमेंट मेडिकल स्कीम समेत अन्य मुद्दों पर चर्चा करने की मंशा जताई थी.
इसीएल समेत सीआइएल की अन्य अनुषांगिक कंपनी से जनवरी 2017 से सेवानिवृत्त हुए कर्मियों को बढ़ी हुई ग्रेच्युटी भुगतान करने की मांग लंबे अरसे से हो रही है. मानकीकरण समिति की बैठक में इस मसले पर चर्चा कर निर्णय लिया जाना था लेकिन प्रबंधन की ओर से तीन माह से बैठक आयोजित नहीं की जा रही है.
समझौता के मुताबिक प्रत्येक माह के अंतिम सप्ताह में आयोजित कर कोल कर्मियों की समस्याओं का निराकरण किया जाना था. लगभग दो माह बाद पिछले सप्ताह मानकीकरण समिति की बैठक आयोजित की गई थी. कतिपय कारणों से बैठक स्थगित हो गई. प्रबंधन ने नई तिथि 30 जनवरी निर्धारित कर बैठक बुलाई थी.
श्रमिक संघ प्रतिनिधियों को उम्मीद थी कि सीआइएल चेयरमैन एके झा 31 जनवरी को सेवानिवृत्त होंगे. इसके पहले कोल कर्मियों की बैकडेट ग्रेच्युटी समेत लंबित मांग पूरी हो जाएगी. इसलिए प्रस्तावित बैठक में इसमें वेतनमान में विसंगति समेत बैकडेट से 20 लाख ग्रेच्युटी देने के विषय पर चर्चा की जाएगी. प्रबंधन ने छह बिंदुओं पर एजेंडा तैयार कर श्रमिक संघ को सौंपा है.
इनमें दो बिंदु पिछली बैठक से जुड़ी हुई है. शेष एजेंडा में उत्पादन, उत्पादकता, डिस्पैच व कोयले की गुणवत्ता, कास्ट, इकोनॉमी, प्रॉफिटेबिलिटी रखा है. अंत में चेयरमैन की सहमति से अन्य बिंदुओं पर चर्चा की जाएगी. जानकारों का कहना है कि मुख्य बिंदु शामिल नहीं करने से श्रमिक नेताओं में नाराजगी बढ़ी है. इसके बावजूद श्रमिक संघ प्रबंधन पर दबाव बनाएंगे कि बैकडेट से ग्रेच्युटी, डिप्लोमा होल्डर्स कर्मियों का करियर ग्रोथ, पोस्ट मेडिकल स्कीम व सुपरवाइजरी स्टाफ का ओटी सीलिंग पर चर्चा की जाए.
श्रमिक संघ को उस वक्त झटका लगा, जब कोल इंडिया के महाप्रबंधक एमपी एंड आइआर अजय कुमार चौधरी ने आदेश जारी कर बैठक स्थगित करने की सूचना श्रमिक नेताओं को दी. बैठक टलने के साथ ही कोल कर्मियों की सभी समस्याओं पर अब कोई निर्णय नहीं हो सकेगा. यहां यह बताना लाजिमी होगा कि वर्तमान में सरकार से जारी अधिसूचना के मुताबिक रिटायर्ड कोल कर्मियों को 29 मार्च 2018 के बाद से 20 लाख ग्रेच्युटी का भुगतान हो रहा है. जबकि 20 लाख ग्रेच्युटी जनवरी 2017 से सेवानिवृत्त हुए कर्मियों को देने की मांग श्रमिक संघ प्रतिनिधि कर रहे हैं.
इसकी मुख्य वजह यह है कि सेवानिवृत्त कोल अफसरों को जनवरी 2017 से 20 लाख ग्रेच्युटी दी जा रही है. कोल प्रबंधन की इस भेदभावपूर्ण नीति से कर्मियों में आक्रोश है. प्रबंधन ने एपेक्स जेसीसी तथा मानकीकरण की प्रस्तावित बैठक टाल दी. पुनः कब बैठक आयोजित की जाएगी, इस बारे में कोई निर्णय नहीं लिया है. बताया जा रहा है कि एक बार फिर नए सिरे से बैठक की तिथि निर्धारित कर सभी श्रमिक संघ प्रतिनिधियों को सूचना दी जाएगी.
इसके बाद ही बैठक आयोजित कर कर्मियों की समस्याओं पर मंथन किया जाएगा. एपेक्स जेसीसी कमेटी की बैठक कोल इंडिया चेयरमैन की अध्यक्षता में आयोजित की जाती है. 30 जनवरी की बैठक की भी अध्यक्षता चेयरमैन एके झा करने वाले थे. बैठक स्थगित होने से अब नए चेयरमैन प्रमोद कुमार अग्रवाल बैठक की अध्यक्षता करेंगे. एक फरवरी को पीके अग्रवाल चेयरमैन का पदभार संभालेंगे.
इसके बाद कंपनी के कामकाज की समीक्षा करेंगे. संभावना जताई जा रही है कि अब एक माह तक जेसीसी की बैठक नहीं होगी. क्योंकि पहले नए चेयरमैन सभी कंपनियों के अफसरों से चर्चा करेंगे और वास्तविक स्थिति से रूबरू होंगे. इसके बाद ही अन्य मुद्दों पर चर्चा शुरू होगी.