17.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

सिख संगत से जुड़े प्रतिनिधियों ने भी की खंड़ा लगाने की आलोचना

शहीद-ए-आजम की प्रतिमा से छेड़छाड़ पर शहर में तीव्र प्रतिक्रिया निजी स्वार्थ हित में आम जनता की भावनाओं पर किया गया चोट आसनसोल : शहर की हृदयस्थली में लगी शहीद-ए-आजम भगत सिंह की प्रतिमा के पीछे गुरूद्वारा प्रबंधक कमेटी, बर्नपुर के स्तर से लगाये गये खंड़ा का स्वयं सिख समुदाय के लोगों ने विरोध करना […]

  • शहीद-ए-आजम की प्रतिमा से छेड़छाड़ पर शहर में तीव्र प्रतिक्रिया
  • निजी स्वार्थ हित में आम जनता की भावनाओं पर किया गया चोट
आसनसोल : शहर की हृदयस्थली में लगी शहीद-ए-आजम भगत सिंह की प्रतिमा के पीछे गुरूद्वारा प्रबंधक कमेटी, बर्नपुर के स्तर से लगाये गये खंड़ा का स्वयं सिख समुदाय के लोगों ने विरोध करना शुरू कर दिया है.उन्होंने कहा कि इस तरह की हरकत ओछी मानसिकता का परिचायक है तथा मेयर जितेन्द्र तिवारी को इस मामले में हस्तक्षेप कर प्रतिमा को पुराना स्वरूप देना चाहिए. इस हरकत से काफी मानसिक क्लेष हो रहा है.
नौ जवान पंजाबी सभा ने की थी 1983 में स्थापना
भगत सिंह मोड़ में लगी प्रतिमा की स्थापना 23 मार्च, 1983 में हुई थी. उस समय सभा के महासचिव चरणजीत सिंह तथा अध्यक्ष मलिक सिंह थे. बर्नपुर मोड़ जीटी रोड में प्रतिमा स्थापना के लिए महासचिव श्री सिंह ने तत्कालीन अतिरिक्त जिलाशासक से अनुमति ली थी. इसके पहले आसनसोल नगरपालिका के तत्कालीन चेयरमैन ने अनुमति दी थी तथा आसनसोल-दुर्गापुर विकास प्राधिकार (एडीडीए) ने अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी किया था. प्रतिमा के अनावरण समारोह में लोक निर्माण व आवास विभाग के तत्कालीन मंत्री जतिन चक्रवर्ती तथा भूमि व भूमि राजस्व विभाग के मंत्री विनय चौधरी शामिल हुए थे.
प्रतिमा स्थापना का सारा खर्च सभा ने ही वहन किया था. प्रतिमा की स्थापना के समय बेस में नौ जवान पंजाबी सभा का शिलालेख भी लगा था. लेकिन प्रतिमा के पुनर्निर्माण के बाद सभा का नाम शामिल नहीं किया गया. सभा से जुड़े चरणजीत सिंह, कुलदीप सिंह, बलदेव सिंह, चरण सिंह, दिलबाग सिंह आदि ने 26 सितंबर, 2018 को मेयर जितेन्द्र तिवारी को पत्र लिख कर शिलालेख लगाने की मांग की थी. हालांकि सभा का नाम नहीं लगाया गया है.
धार्मिक होने के कारणों को किया था खारिज
उनके नास्तिक होने से संबंधित भगत सिंह का लेख ‘मैं नास्तिक क्यों हूं’ 27 सितंबर, 1931 को लाहौर के अखबार ‘द पीपुल’ में प्रकाशित हुआ था. फांसी पर चढ़ने से पहले उन्होंने यह लेख लिखा था. उन्होंने उसमें कहा है- “ईश्वर में विश्वास रखनेवाला हिन्दू पुनर्जन्म पर राजा होने की आशा कर सकता है. एक मुसलमान या ईसाई स्वर्ग में व्याप्त समृद्धि के आनंद की और अपने कष्टों और बलिदान के लिए पुरस्कार की कल्पना कर सकता है.
किंतू मैं क्या करूं? मैं जानता हूं कि जिस क्षण रस्सी का फंदा मेरी गर्दन पर लगेगा और मेरे पैरों के नीचे से तख्ता हटेगा, वह पूर्ण विराम होगा- वह अंतिम क्षण होगा. मैं या मेरी आत्मा सब वहीं समाप्त हो जायेगी. आगे कुछ न रहेगा. एक छोटी सी जूझती हुई जिंदगी, जिसकी कोई ऐसी गौरवशाली परिणति नहीं है, अपने में स्वयं एक पुरस्कार होगी- यदि मुझमें इस दृष्टि से देखने का साहस हो.
मामले में मेयर जितेंद्र तिवारी करें तत्काल हस्तक्षेप
नौ जवान पंजाबी सभा (बर्नपुर गुरूद्वारा) के पूर्व महासचिव चरणजीत सिंह ने कहा कि यह प्रतिमा श्रध्दा तथा बलिदान का प्रतीक है. भगत सिंह किसी प्रांत, कौम या समाज तक सीमित नहीं हैं. वे एक नेशनल हीरो हैं. जिसने देश के लिए अपने प्राण न्यौछावर कर दिये. इनके आदर्शो पर चलने की प्रेरणा मिलती है. कुछ लोग अपनी स्वार्थ-सिद्धि के लिए ऐसा करते है. प्रतिमा के साथ खंडा साहेब को लगाना सरासर गलत निर्णय है.
यदि उनकी प्रतिमा में सिख संगत की निशानी लगानी होती तो अमृतसर साहेब सबसे पहले लगा चुका होता. कुछ लोग इस प्रकार के कार्य कर समाज को बांटने की कोशिश कर रहे है. मेयर श्री तिवारी को हस्तक्षेप कर प्रतिमा को पुराने स्वरूप में स्थापित करनी चाहिए.
बलवंत सिंह ने कहा कि भगत सिंह राष्ट्रीय हीरो हैं. वे किसी विशेष धर्म या कम्यूनिटी का नहीं रह गये हैं. कुछ विवादस्पद मुद्दो को ढ़ेकर कुछ लोग चर्चा में रहने के लिए ऐसा कर रहे हैं.
समाज को तोड़ने की कोशिश की जा रही है. इसमें मेयर श्री तिवारी को तत्काल हस्तक्षेप करना चाहिए. अधिवक्ता होकर शहीद की प्रतिमा पर खंडा साहेब लगाने की इजाजत कैसे दी जा सकती है? सिख माईनरिटी राईट्स इन्टरनेशनल के सदस्य जसविन्दर सिंह धुमन ने कहा कि शहीद भगत सिंह महान क्रांतिकारी थे.
उनको किसी एक धर्म के साथ जोड़कर सीमित करना संकुचित मानसिकता को दर्शाता है. इस विषय को गंभीरता से लेते हुये आसनसोल नगर निगम प्रशासन को इस पर त्वरित संज्ञान लेकर उचित कार्रवाई करनी चाहिए. सिख माईनरिटी राइट्स इन्टरनेशनल इसकी निंदा करता है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें