जमशेदपुर: बच्चेदानी में ट्यूमर का ऑपरेशन के दौरान पेट में तारनुमा कुछ छोड़ने का मामला प्रकाश में आया है. पेट में क्या छोड़ा गया है, इसकी जानकारी ऑपरेशन के बाद ही मिलेगी. इस कारण धालभूमगढ़ महाली सोल निवासी पार्वती उस्ताद (45) के पेट में इंफेक्शन हो गया है.
उसकी स्थिति खराब होती जा रही है. मंगलवार को उसे एमजीएम अस्पताल लाया गया, जहां से उसे बेहतर इलाज के लिए टेल्को अस्पताल में भरती कराया गया. पार्वती के पति उमाकांत उस्ताद ने बताया कि उनकी पत्नी छह माह से बच्चेदानी से हो रही ब्लीडिंग से परेशान थी.
दामाद क्षितिश चंद्र कैवर्त की सलाह पर आदित्यपुर स्थित 111 सेव लाइव अस्पताल में इलाज का फैसला लिया. दामाद ने बताया था कि बीपीएल परिवार का यहां मुफ्त में इलाज किया जाता है. इसके बाद उन्होंने पत्नी को वहां भरती कराया. डॉक्टर ओपी आनंद ने एक्स-रे और अल्ट्रा साउंड कर बताया कि पार्वती की बच्चेदानी में ट्यूमर है. ऑपरेशन करना जरूरी है. अस्पताल प्रबंधन ने बताया कि कोलकाता से विशेषज्ञ आयेंगे, जो ऑपरेशन करेंगे.
6 फरवरी 2014 को ऑपरेशन किया गया. ऑपरेशन किस डॉक्टर ने किया, इसकी जानकारी परिजनों को नहीं दी गयी. ऑपरेशन के 15- 20 दिन बाद से ही पार्वती के पेट में दर्द होने लगा. ऑपरेशन की जगह से रक्त प्रवाह होने लगा. 11 मार्च को पत्नी को लेकर अस्पताल पहुंचा. डॉक्टरों ने बताया कि ठीक हो जायेगा, दवा देकर घर जाने की सलाह दी. दो माह तक ठीक नहीं होने के बाद 5 जून को फिर पार्वती को लेकर वे अस्पताल पहुंचा. एक्स-रे व अल्ट्रा साउंड करने को कहा तो डॉक्टरों ने जेल भेजने की धमकी देकर भगा दिया. पार्वती की स्थिति बिगड़ने के बाद वह उसे लेकर घाटशिला के सुरक्षा स्कैन सेंटर ले गया. यहां उसका अल्ट्रा साउंड व एक्स रे कराया गया. इस दौरान पता चला कि पार्वती के पेट में तार जैसा कुछ छूट गया है, जो एक्स रे में दिख रहा है. मंगलवार को एमजीएम अस्पताल में हुए एक्स रे में भी ऑपरेशन के दौरान कुछ छूटने की पुष्टि की गयी.