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एमजीएम: डॉक्टर व नर्स का बयान हुआ दर्ज, लगाये आरोप, दोनों डॉक्टर फिर आमने-सामने
जमशेदपुर: मानगो के सुखदेव राम की एमजीएम अस्पताल में ऑपरेशन के बाद मौत के मामले में बुधवार को जांच कमेटी के सदस्यों ने सर्जरी विभाग के डॉ एमके सिन्हा और डाॅ लक्ष्मण हांसदा से कई बिंदुओं पर पूछताछ की. पूछताछ के दौरान डॉक्टरों से सुखदेव राम की बीमारी के बारे में भी कमेटी ने जानकारी […]
जमशेदपुर: मानगो के सुखदेव राम की एमजीएम अस्पताल में ऑपरेशन के बाद मौत के मामले में बुधवार को जांच कमेटी के सदस्यों ने सर्जरी विभाग के डॉ एमके सिन्हा और डाॅ लक्ष्मण हांसदा से कई बिंदुओं पर पूछताछ की. पूछताछ के दौरान डॉक्टरों से सुखदेव राम की बीमारी के बारे में भी कमेटी ने जानकारी ली.
पूछताछ में दोनों डॉक्टरों के बयान में अंतर पाया गया. इस दौरान ऑपरेशन थियेटर में मौजूद नर्स व अन्य कर्मचारियों से भी पूछताछ की गयी और बयान दर्ज किया गया. टीम ने नर्स से ऑपरेशन के बारे में विस्तृत जानकारी ली. जैसे ऑपरेशन कब शुरू हुआ,कितने देर चला और उस दौरान कौन कौन डॉक्टर मौजूद थे. पूछताछ खत्म होने के बाद जांच टीम के सदस्यों ने आपस में बैठक की. जांच टीम के अध्यक्ष डॉ भारतेंदु भुषण ने बताया कि डॉ एमके सिन्हा और डॉ लक्ष्मण हांसदा पर जो आरोप लगाये गये हैं, उसको लेकर कमेटी जांच कर रही है और बहुत जल्द ही रिपोर्ट सौंप दी जायेगी. साथ ही रिपोर्ट में जो भी दोषी पाये जायेेंगे उनके खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. गौरतलब है कि मानगो के सुखदेव राम की एमजीएम अस्पताल में ऑपरेशन के बाद मौत हो गयी थी. मृतक की बेटी उर्मिला के बयान पर इलाज में लापरवाही बरतने के आरोप में साकची थाने में आइपीसी की धारा 304-ए के तहत डॉ एमके सिन्हा के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था.
डाॅ एमके सिन्हा ने कहा
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार पूछताछ के दौरान डाॅ. एमके सिन्हा ने टीम को बताया कि ऑपरेशन के दौरान वह ओटी में मौजूद नहीं थे. जब मरीज सुखदेव की स्थिति काफी बिगड़ गई तो उन्हें फोन कर बुलाया गया. उसके बाद वह ओटी में पहुंचे. लेकिन तब तक डा. हांसदा ने लगभग ऑप्रेशन पूरा कर दिये थे. ऑपरेशन का कुछ काम ही बाकि था. मरीज तड़प रहा था. उसका रक्तचाप बढ़ गया था. इस दौरान उसने मरीज को हाथ तक भी नहीं लगाया.
डाॅ. लक्ष्मण हांसदा ने कहा
सूत्रों ने बताया कि डाॅ. लक्ष्मण ने टीम को बताया कि जब वे मरीज को पहली बार जांच किये तो उन्हें हाइड्रोसिल जैसा लगा. लेकिन जब ऑपरेशन के लिए चीरा तो उसमें कुछ अंग खराब मिला. मरीज के परिजनों से पूछने के बाद उस खराब अंग को काट कर निकाल दिया गया. इसी दौरान उन्हें हर्निया भी दिखायी दी. मरीज के परिजनों को निकाला गया अंग भी डा. सिन्हा ने ही दिखाया. और ऑपरेशन भी उन्हीं के नेतृत्व में हो रहा था. डा. हासंदा ने बताया कि इसकी सही जानकारी के लिए उस दिन ओटी में मौजूद नर्स से भी ली जा सकती है.
डॉ हांसदा ने नहीं दिया स्पष्टीकरण का जवाब : अधीक्षक
एमजीएम अस्पताल के अधीक्षक डॉ भारतेंदु भूषण ने बताया कि सर्जरी विभाग के डॉ लक्ष्मण हांसदा ऑन ड्यूटी नशे की हालत में अस्पताल आ गये थे, जिसके बाद उन्हें शो-कॉज दिया गया था. साथ ही उनसे दो दिनों में लिखित में जवाब देने को कहा गया था, लेकिन दो दिन बीतने के बाद भी डॉ हांसदा ने अब तक शो-कॉज का जवाब नहीं दिया है. अधीक्षक ने बताया कि अगर वह जवाब नहीं देते हैं, तो उनके खिलाफ एक्शन लिया जायेगा.
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