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ईचागढ़ के क्षतिग्रस्त खोकरो पुल की रांची से आयी टीम ने की जांच, टीम के आने से पहले पुल का एक और पिलर धंसा

चांडिल: ग्रामीण विकास विशेष प्रमंडल, रांची के मुख्य अभियंता विवेकानंद मिश्रा के नेतृत्व में एक उच्चस्तरीय टीम रविवार को ईचागढ़ पहुंची. टीम ने शनिवार को क्षतिग्रस्त हुई खोकरो-कारकीडीह पुल की जांच की. इधर, जांच टीम के आने से पहले रविवार सुबह पुल का तीसरा पिलर भी करीब 6 इंच धंस गया. मालूम हो कि सुवर्णरेखा […]

चांडिल: ग्रामीण विकास विशेष प्रमंडल, रांची के मुख्य अभियंता विवेकानंद मिश्रा के नेतृत्व में एक उच्चस्तरीय टीम रविवार को ईचागढ़ पहुंची. टीम ने शनिवार को क्षतिग्रस्त हुई खोकरो-कारकीडीह पुल की जांच की. इधर, जांच टीम के आने से पहले रविवार सुबह पुल का तीसरा पिलर भी करीब 6 इंच धंस गया. मालूम हो कि सुवर्णरेखा नदी पर छह माह पूर्व 12.5 करोड़ की लागत से बना 430.98 मीटर लंबे पुल का चौथा पिलर शनिवार को धंस गया था. इस दौरान टीम ने पुल की बारीकी से जांच की. मुख्य अभियंता श्री मिश्रा ने बताया कि पिलर दो फीट 9 इंच धंसा है. पानी घटने के बाद ही नीचे की स्थिति की जांच कर क्षति का आकलन किया जायेगा.
टीम ने पुल की ढलाई की जांच खुदाई कर की. साथ ही जांच के लिए कंक्रीट सैंपल लिए. इसके बाद पुल पर से बोलेरो चला कर देखा. उन्होंने बताया कि पुल के चार व पांच नंबर पिलर के प्लेट को हटा कर चार नंबर पिलर पर कृत्रिम प्रेशर देकर पुल को रिपेयर कर दिया जायेगा. पुल की मरम्मत संभव है. फिलहाल पुल से छोटे वाहनों का आवागमन हो सकता है. मालूम हो कि उक्त पुल के शनिवार को धंसने के बाद एसडीएम भगीरथ प्रसाद ने तत्काल निषेधाज्ञा लागू कर दी थी. याद रहे कि उक्त पुल 6 माह पूर्व ही बनकर तैयार हुआ था तथा अभी इसका उद्घाटन भी नहीं हुआ था. मौके पर अधीक्षण अभियंता रवि सहाय, कार्यपालक अभियंता सुशील कुमार, सहायक अभियंता श्रवण कुमार, थाना प्रभारी राउतु होनहागा सहित कई अभियंता भी उपस्थित थे.
जांच से संतुष्ट नहीं ग्रामीण, लीपापोती करने का लगाया आरोप : अभियंताओं की टीम द्वारा जांच करने के बाद मरम्मत करने की बात पर प्रतिकृया व्यक्त करते हुए ग्रामीणों ने कहा कि जांच दल संवेदक वी आर कंस्ट्रक्शन को बचाने एवं अपने विभाग की मिलीभगत उजागर होने से रोकने के लिए ढुलमुल जांच की गयी. पुल निर्माण के बाद से भारी वाहन या बस नहीं चलाये गये हैं. नया पुल धंस गया है. मरम्मत कर पुल मे भारी वाहन चलाने पर कभी भी खतरा हो सकता है. उच्चस्तरीय जांच कर संवेदक पर कारवाई की मांग की जाएगी. ग्रामीणों ने कहा कि जांच के नाम पर खानापुर्ती कर संवेदक को बचाने का प्रयास किया गया तो अनुमंडल कार्यालय पर धरना दिया जाएगा. झामुमो प्रखंड अध्यक्ष अनिल कुमार सिन्हा ने कहा कि उच्चस्तरीय जांच कर संवेदक व अभियंताओं पर कार्रवाई की जाय, नहीं तो झामुमो आंदोलन करेगा.
खोकरो कारकीडीह पुल निर्माण के समय चार नंबर पिलर से काफी पानी का रिसाव हो रहा था. 15 दिनों तक पानी को निकालने का प्रयास किया जा रहा था. बाद में मिट्टी पर ही पीलर को ढाल दिया गया था. ग्रामीणों ने विरोध किया, पर दो दिन बाद रात को पिलर की ढलाई कर दी गयी.
मंदन मंडल, ग्रामीण, कारकीडीह
जांंच टीम केवल खानापूर्ति कर रही है. कहीं न कही जांच टीम संवेदक को बचाने काम कर रही है. पुल को लेकर अनदेखी की जायेगी, तो कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है. पुल निर्माण में काफी अनियमितता बरती गयी है, जिसकी जांच की मांग जिला से लेकर अनुमंडल तक की गयी थी, लेकिन किसी ने जांच करना मुनासिब नहीं समझा.
अभिराम हेम्ब्रम, मुखिया प्रतिनिधि, चिमटिया पंचायत

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