दुमका : ग्राम प्रधान मांझी संगठन की मासिक बैठक प्रमंडलीय अध्यक्ष भीम प्रसाद मंडल की अध्यक्षता में हुई, जिसमें 30 जून को हूल दिवस पर विशाल रैली निकालने का निर्णय लिया गया. बांसकनाली में समाज कल्याण विभाग द्वारा बनवाये जा रहे मांझी थान का निर्माण सांस्कृतिक कला केंद्र के रूप में किये जाने का विरोध किया जायेगा. कहा गया कि क्षेत्र के जनप्रतिनिधि सांसद, विधायक और सरकार एक षड्यंत्र के तहत मांझीथान के नाम को परिवर्तित करना चाह रहे हैं.
इससे संताल परगना की पहचान विलुप्त हो जायेगी. प्रधानों ने कहा कि संगठन सांस्कृतिक कला केंद्र बनाने का विरोधी नहीं है, लेकिन मांझीथान के नाम से बनने वाले भवन का नाम बदलना उचित नहीं है. बैठक में वर्तमान सर्वे सेट्लमेंट में दुमका जिला अंतर्गत अंतिम रूप से प्रकाशित परचे में साविक जमाबंदी नंबर, साविक लगान, साविक रकवा तथा प्रधानी जोत में ग्राम प्रधान के नाम का उल्लेख नहीं किये जाने पर भी क्षोभ जताया गया.
प्रधानों ने कहा कि इस संदर्भ में राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के प्रधान सचिव के द्वारा बंदोबस्त पदाधिकारी को आदेश भी दिया गया है, बावजूद साविक रकवा, लगान व जमाबंदी नंबर तथा प्रधानी जोत में प्रधान का नाम दर्ज नहीं कराया जाना दुभार्ग्यपूर्ण है. प्रधानों ने इस विषय पर आंदोलन करने की आवश्यकता पर बल दिया. बैठक में अजीत कुमार मिश्रा, भीम सोरेन, इंगलिश लाल मरांडी, विभूति भूषण यादव, द्वारिका प्रसाद मांजि, श्रीकांत मंडल, सुशील सोरेन, मुंशी मुर्मू, मो मजनू अंसारी, मो हामिद आदि मौजूद थे.