देवघर: देवघर भूमि घोटाला की सीबीआइ जांच अंतिम चरण में है. यह जांच दो स्तर से होने के कारण जांच की प्रक्रिया लंबी होती गयी. लेकिन सीबीआइ अब अपनी जांच को अंतिम रूप देने की तैयारी में है.
सीबीआइ एसपी (धनबाद) पीके मजी के अनुसार देवघर भूमि घोटाला व अभिलेखागार चोरी कांड की अलग-अलग बिंदुओं पर जांच हो रही है. हाइकोर्ट में जांच का स्टेटस रिपोर्ट समय-समय पर प्रस्तुत किया जा रहा है. चूंकि देवघर में व्यापक पैमाने पर जमीन घोटाला हुआ है. सुनियोजित तरीके से खरीद-बिक्री हुई है. इसलिए जांच थोड़ी लंबी हो रही है. दस्तावेज और सुबूतों को खोजने में समय लग रहा है. जांच पूरी होने में अभी भी करीब तीन माह लगने की संभावना है. तीन माह में जांच पूरी होने के बाद आरोपितों पर भी नियमानुसार कार्रवाई शुरू होगी.
अवैध रजिस्ट्री घोटाले का बना कारण
एसपी मजी ने बताया कि भूमि घोटाले में जमीन की अवैध रजिस्ट्री बड़े पैमाने पर हुई है. इसकी टू द प्वाइंट जांच हो रही है. घोटाले में फरजी दस्तावेज के आधार पर जमीन की अवैध रजिस्ट्री सबसे बड़ा कारण प्रतीत हुआ है. फिलहाल अभिलेखागार से चोरी गयी दस्तावेज को जलाने के मामले में बिंदुवार जांच हो रही है.जांच पूरी होते ही केस की रिपोर्ट हाइकोर्ट में प्रस्तुत करेंगे. अब तक इस मामले में कई अधिकारियों व कर्मचारियों के अलावा सिविल लोगों से पूछताछ हो चुकी है. पूछताछ में घोटाले से संबंधित कई तथ्य उजागर हुए हैं, कई अहम प्रमाण सीबीआइ के हाथ लगे हैं. जिसके आधार पर जांच को तेज किया गया है.