13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

विद्यालय का भवन जर्जर

1008 छात्राओं के पठन- पाठन की जिम्मेवारी दो शिक्षकों पर गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा मिले इसे लेकर केंद्र सरकार हो या राज्य सरकार कृत संकल्पित है. बावजूद इसके कई ऐसे विद्यालय अब भी शेष हैं जो भवन सहित संसाधन का अभाव जूझने को विवश हैं. निर्मली : छात्रों को गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा मिले इसे लेकर सरकार […]

1008 छात्राओं के पठन- पाठन की जिम्मेवारी दो शिक्षकों पर

गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा मिले इसे लेकर केंद्र सरकार हो या राज्य सरकार कृत संकल्पित है. बावजूद इसके कई ऐसे विद्यालय अब भी शेष हैं जो भवन सहित संसाधन का अभाव जूझने को विवश हैं.

निर्मली : छात्रों को गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा मिले इसे लेकर सरकार कृत संकल्पित है. उच्च शिक्षा को लेकर छात्रों के अनुरूप चकाचक विद्यालय भवन निर्माण कराया जा रहा है. साथ ही छात्रों की सुविधा को देखते हुए पंचायत स्तर पर उच्च विद्यालय का भी गठन किया जा रहा है. बावजूद इसके कई ऐसे विद्यालय अब भी शेष है जो भवन सहित संसाधन का अभाव जूझने पर विवश हैं. मुख्यालय के हटिया चौक स्थित परियोजना बालिका उच्च विद्यालय जो विगत कई दशकों से अनुमंडल क्षेत्र सहित सीमावर्ती जिले मधुबनी की छात्राओं के लिए शिक्षा का पर्याय रहा है.

लेकिन वर्तमान समय में व्यवस्था सुदृढ़ होने के बजाय विभागीय उदासीनता का भेंट चढ़ा हुआ है. आलम यह है कि जहां जिले भर के अधिकांश माध्यमिक विद्यालयों में वर्ग कक्ष के निमित्त करोड़ों की राशि खर्च की गयी है. साथ ही अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस किया जा रहा है. वहीं उक्त परियोजना बालिका उच्च विद्यालय जर्जर भवन में संचालित है.

कमरा तीन, नामांकित छात्रा 1008

गौरतलब हो कि परियोजना बालिका उच्च विद्यालय में कुल एक हजार आठ छात्राएं नामांकित हैं. उक्त छात्राओं के बैठने के लिए महज तीन कमरा उपलब्ध है. जो काफी जर्जर अवस्था में है. विद्यालय प्रबंधन द्वारा जानकारी दी गयी कि वर्तमान में नौवीं कक्षा में कुल 572 छात्रा तथा दसवीं में कुल 436 छात्राएं नामांकित हैं.

शैक्षणिक व गैर शैक्षणिक कार्य सफलता पूर्वक संपन्न कराये जाने को लेकर विद्यालय परिसर में महज तीन कमरा ही उपलब्ध है. जिसमें तकरीबन डेढ़ से दो सौ छात्राओं को वर्ग में बैठाया जा सकता है.

अब सवाल उठना लाजिमी है कि जहां सरकार शिक्षा व्यवस्था में आमूलचूल परिवर्तन लाने की कवायद कर रही है. वहीं स्थानीय विभाग की उदासीनता के कारण उक्त विद्यालय में नामांकित छात्रा उपेक्षा का दंश झेलने को विवश हो रहे हैं

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें