सुपौल: जिला मुख्यालय स्थित वार्ड नंबर 25 में सुपौल हाट से पश्चिम किराये के आवास में बुधवार की देर रात आग लग जाने से जिला स्वास्थ्य समिति कार्यालय में डाटा इंट्री ऑपरेटर के पद पर कार्यरत 31 वर्षीय युवक की संदिग्ध अवस्था में मौत हो गयी. मृत दिवाकर कुमार दरभंगा जिले के सिंहवाड़ा थाना क्षेत्र अंतर्गत कटका गांव का रहनेवाला था. घटना की सूचना मिलने के बाद सदर थानाध्यक्ष राम इकबाल यादव ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया.
मकान मालिक ने फोन पर दी पिता काे सूचना : मृत युवक के पिता रास मोहन ठाकुर के आवेदन के आलोक में पुलिस यूडी केस दर्ज कर अनुसंधान में जुटी है. आवेदन में बताया है कि वह सीएस कार्यालय के संगणक के पद से सेवानिवृत हो चुके हैं. उनका पुत्र दिवाकर जिला स्वास्थ्य समिति कार्यालय में डाटा इंट्री ऑपरेटर के पद पर कार्यरत था. सेवानिवृत्ति के बाद वह अपने गांव चले गये, जबकि उनका पुत्र वार्ड नंबर 25 स्थित रास बिहारी चौधरी के ही मकान में रह रहा था. बुधवार की रात करीब एक बजे मकान मालिक ने दूरभाष पर घर में आग लगने की सूचना दी.
जब वह सुपौल पहुंचे, तो पाया कि एक कमरे में रखा सारा सामान जल कर नष्ट हो चुका था, जबकि दूसरे कमरे में उनका पुत्र दिवाकर पलंग पर चित लेटा था और उसकी मौत हो चुकी थी. उन्होंने कहा है कि संभवत: शॉट सर्किट के कारण घर में आग लग गयी और दम घुटने की वजह से उनके बेटे की मौत हो गयी है. साथ ही उन्होंने पुलिस से अन्य बिंदुओं पर भी जांच करने का अनुरोध किया है. सदर थानाध्यक्ष राम इकबाल यादव ने बताया कि यूडी केस दर्ज कर मामले का अनुसंधान किया जा रहा है.
दिवाकर की मौत दुघर्टना या कुछ और!
डाटा इंट्री ऑपरेटर दिवाकर कुमार की मौत को पुलिस फिलहाल दुर्घटना मान कर अनुसंधान कर रही है. पर, घटनास्थल व परिस्थिति जन्य साक्ष्य कई सवालों को जन्म दे रहे हैं. पुलिस को इन बिंदुओं पर भी जांच करने की आवश्यकता है, तभी दिवाकर के मौत के रहस्य पर से परदा उठ सकता है. घटना के बाद मृत युवक के पलंग के नीचे से शराब की बोतल, खाली ग्लास व प्लेट आदि बरामद होना कई सवालों को जन्म दे रहा है. मौत के बाद नाक से निकल रहा झाग भी किसी दूसरे कारण की ओर इशारा कर रहा है. यदि पुलिस दिवाकर के साथ रात में मदिरा सेवन करनेवाले अन्य साथियों की तलाश करती है, तो इस रहस्य पर से परदा उठ सकता है. थानाध्यक्ष ने बताया कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट व बिसरा की जांच के बाद ही दिवाकर की मौत का कारण स्पष्ट हो पायेगा.