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दवा व्यवसायी की हत्या का था प्लान
सीतामढ़ी/मेजरगंज : नेपाल के सर्लाही जिले के मलंगवा से गिरफ्तार मेजरगंज थाना के डुमरी कला निवासी सह न्यू क्षत्रिय संगठन फौज के सरगना शातिर अष्ण कुमार सिंह से पूछताछ के बाद गुरुवार को उसे न्यायिक हिरासत में पेश करने के बाद जेल भेज दिया गया. वहीं सीतामढ़ी शहर के आदर्शनगर मुहल्ले से गिरफ्तार सुप्पी ओपी […]
सीतामढ़ी/मेजरगंज : नेपाल के सर्लाही जिले के मलंगवा से गिरफ्तार मेजरगंज थाना के डुमरी कला निवासी सह न्यू क्षत्रिय संगठन फौज के सरगना शातिर अष्ण कुमार सिंह से पूछताछ के बाद गुरुवार को उसे न्यायिक हिरासत में पेश करने के बाद जेल भेज दिया गया.
वहीं सीतामढ़ी शहर के आदर्शनगर मुहल्ले से गिरफ्तार सुप्पी ओपी के हरपुर पीपरा निवासी सह अरुण के शागिर्द मिथिलेश पाठक से पुलिस की पूछताछ जारी है. इधर, एसपी हरि प्रसाथ एस के निर्देश पर संगठन द्वारा विभिन्न आपराधिक वारदातों को अंजाम देने में प्रयुक्त हथियार की बरामदगी व गिरोह के अन्य सदस्यों की गिरफ्तारी के लिये ताबड़तोड़ छापेमारी कर रहीं है.
बुधवार को अरुण ने पुलिस को बताया था की वारदातों में प्रयुक्त हथियार मिथिलेश के पास है. इसके आधार पर मेजरगंज पुलिस ने मेहसौल ओपी पुलिस के सहयोग से शहर के आदर्शनगर मुहल्ले से मिथिलेश को गिरफ्तार किया था. हालांकि छापेमारी में मिथिलेश के पास से कोई हथियार बरामद नहीं हुआ.
— अरुण सिंह ने किये कई खुलासे
अरुण ने मेजरगंज के चर्चित दवा व्यवसायी की हत्या कर इलाके में दहशत की हवा फैला कर लेवी वसूलने की पूरी साजिश रच कर अंजाम देने की फिराक में लगे हुए थे. इसी बीच पुलिस के हत्थे अरुण चढ़ गया. गिरफ्तार अरुण ने मेजरगंज पुलिस के समक्ष ऐसे हीं कई सनसनीखेज खुलासे किये है. बताया है कि आने वाले कुछ ही दिनों में वह अपने सहयोगियों के साथ मिलकर मेजरगंज के चर्चित दवा व्यवसायी की हत्या कर बाजार में दहशत फैलाने की तैयारी में था.
अरुण ने पूछताछ के दौरान पुलिस को अपने गिरोह के सदस्यों के नाम का भी खुलासा किया है. लेकिन अनुसंधान प्रभावित नहीं हो, इसके लिए थानाध्यक्ष मो सैफ अहमद खान ने कुछ भी बताने से परहेज रखा है. पुलिस को दिये गये बयान में उसने कई आपराधिक वारदातों में अपनी संलिप्तता स्वीकार की है. बताया है कि छोटी-मोटी घटनाओं को अंजाम देने के बाद अरुण 21 मई 2013 को अपने हीं गांव स्थित पंजाब नेशनल बैंक के मैनेजर रामस्वार्थ राम की हत्या कर 30 लाख रुपये लूट कर अपराध जगत की राह पकड़ी. उसके बाद 2015 में परसौनी के धुंधली चौक के समीप महादेव बस से व्यवसायी रमण साह को उतार उसके साथ लूटपाट की घटना को अंजाम दिया. वर्ष 2016 में उसने अलग-अलग तीन हत्याओं को अंजाम देकर दहशत फैला दी.
मेजरगंज के तीन व्यवसायियों से मांगी थी रंगदारी
मेजरगंज बाजार के तीन व्यवसायियों से रंगदारी मांग उनकी रात की नींद छीन ली. 17 मार्च 2016 को रीगा के दाल व्यवसायी मोहन प्रसाद की की रीगा-मेजरगंज पथ में मझौरा मोड़ के पास गोली मार कर हत्या कर दी. 21 अप्रैल 2016 को शिवहर जिले के पुरनहिया थाना क्षेत्र के चर्चित महंत का हत्या कर शिवहर में भी दहशत फैला दिया और मेजरगंज थाना के डुमरीकला में 20 जून 2016 को लक्ष्मण कंस्ट्रक्शन कंपनी के मुंशी पटना निवासी धर्मवीर सिंह की रंगदारी के लिये हत्या कर सनसनी फैला दी. 25 व 26 जुलाई को मेजरगंज बाजार के तीन व्यवसायियों संजय मेडिकल, राजू मेडिकल व नर्सिंग सीमेंट भंडार के मालिक से एक साथ रंगदारी मांग बाजार वासियों की चैन छीन ली. इसी बीच 31 जनवरी को डुमरा थाना के लगमा स्थित पूर्व सांसद सीताराम यादव के पेट्रोल पंप के मैनेजर पर फायरिंग कर साढ़े 12 लाख रुपये लूट लिये. मामले का मास्टरमाइंड अरुण कुमार सिंह हीं था.
इस वारदात को शातिर केशव के नेतृत्व में अंजाम दिया गया था. पांच मार्च को बैंक के कैश वैन को लूटने की योजना बनाने के दौरान पुलिस ने केशव सिंह को गिरफ्तार कर जेल भेजा था. जहां केशव ने अपने इकबालिया बयान में इसका खुलासा किया था. तभी से पुलिस को अरुण की तलाश थी. जबकि पुलिस के बढ़ते दबिश के चलते वह नेपाल के सर्लाही जिले के मलंगवा में छिप कर रह रहा था. साथ ही नेपाल से ही इलाके में आपराधिक वारदातों की मॉनीटरिंग कर रहा था.
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