पटना: महिला सशक्तीकरण पर जदयू ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा है. पार्टी कार्यालय में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में बिहार सरकार की समाज कल्याण मंत्री लेशी सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बेटी बचाओ अभियान की बात करते हैं, लेकिन पिछले 14 महीनों में महिला सशक्तीकरण के लिए केंद्र सरकार के पास कोई नीति नहीं दिखती है. जदयू प्रधानमंत्री से पूछना चाहता है कि देश व बिहार की महिलाओं के लिए केंद्र के पास क्या एजेंडा है.
प्रधानमंत्री बेटियों के साथ सेल्फी लेते हैं, लेकिन सेल्फी के नाम पर ही वह सुषमा स्वराज, वसुंधरा राजे, पंकजा मुंडे को बचाने का काम कर रहे हैं. आज जो भ्रूण हत्याएं हो रही हैं, वह भाजपा शासित हरियाणा व राजस्थान में सबसे ज्यादा हो रही है. मंत्री लेशी सिंह ने कहा कि बिहार सरकार ने सबसे पहले पंचायत चुनाव में महिलाओं को 50 फीसदी आरक्षण दिया. इसके बाद शिक्षक नियोजन में 50 फीसदी आरक्षण, पुलिस बहाली में 35 फीसदी आरक्षण दिया गया है. इसके अलावा मुख्यमंत्री कन्या योजना, साइकिल, पोशाक, छात्रवृत्ति योजना की शुरुआत की गयी है. यह सब महिला सशक्तीकरण की दिशा में मील का पत्थर है.
सर्फ साड़ी बांटने से महिलाओं का कल्याण नहीं हो सकता है. प्रेस कॉन्फ्रेंस में जदयू नेता अंजलि सिन्हा ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने महिलाओं को जमीन-संपत्ति की रजिस्ट्री कराने पर स्टांप शुल्क में पांच प्रतिशत की छूट की दी जायेगी. महिला सशक्तीकरण में सरकार ने यह बड़ा फैसला लिया है. नीतीश कुमार की नीति और नीयत स्पष्ट है. वहीं, छात्र समागम की अनु प्रिया ने कहा कि प्रधानमंत्री बिहार आ रहे हैं, वे अपने किये वादों को याद रखें. जिस प्रकार बिहार सरकार ने लड़कियों के लिए एमए तक की पढ़ाई फ्री कर दी है, उसी तरह देश भर में भी एमए तक की पढ़ाई केंद्र सरकार फ्री कर दे. प्रेस कॉन्फ्रेंस में जदयू के प्रवक्ता और विधान पार्षद नीरज कुमार, विधान पार्षद डॉ रामवचन राय, प्रवक्ता निहोरा प्रसाद यादव और प्रदेश महासचिव डॉ नवीन कुमार आर्य मौजूद थे.