मुजफ्फरपुर : टीबी के सही इलाज व इसके उन्मूलन के लिए रविवार को शहर के चिकित्सकों ने संवाद का आयोजन किया. इंडियन मेडिकल एसोसिएशन, एसोसिएशन ऑफ फिजिशियन ऑफ इंडिया व केंद्र सरकार के टीबी प्रोग्राम के संयुक्त बैनर तले क्लब रोड स्थित आइएमए भवन में कार्यशाला कर सरकारी व निजी चिकित्सकों ने टीबी के इलाज में केंद्र सरकार के नये निर्देश पर चर्चा की. टीबी विभाग के प्रभारी डॉ अमिताभ कुमार सिन्हा ने टीबी मरीजों के लिए उपलब्ध दवाओं की चर्चा की. उन्होंने कहा कि टीबी सेंटर में मरीजों की जांच के साथ दवाएं उपलब्ध हैं. यहां आनेवाले मरीजों का पूरी तरह से इलाज किया जाता है.
अन्य चिकित्सक भी ऐसे मरीजों की जानकारी दें, तो टीबी के इलाज व उन्मूलन में काफी मदद मिलेगी. आयोजन में मुख्य जिम्मेदारी निभा रहे एसकेएमसीएच के मेडिसिन विभाग के अध्यक्ष डॉ कमलेश तिवारी ने टीबी मरीजों की तात्कालिक अवस्था, उसकी जांच व इलाज के बारे में विस्तृत जानकारी दी. उन्होंने कहा कि इलाज के लिए केंद्र सरकार की ओर से जो मानक तय किये गये हैं, डॉक्टरों को उसी आधार पर मरीजों का इलाज करना चाहिए.
डॉ एसएम मिश्रा ने शहर के सभी डॉक्टरों को टीबी केस की सूचना टीबी विभाग को देने को कहा. आइएमए के अध्यक्ष डॉ ब्रजमोहन ने कहा कि टीबी मरीजों की संख्या दिन-ब-दिन बढ़ रही है. इसका कारण टीबी का रेसिस्ट हो जाना है. जिन दवाओं से इलाज किया जा रहा है, वह मरीजों को फायदा नहीं करता. हमलोगों को विश्व स्वास्थ्य संगठन के तय मानकों के अनुसार मरीजों का इलाज करना चाहिए. एसकेएमसीएच के अधीक्षक डॉ जीके ठाकुर ने भी टीबी रोगियों के इलाज गंभीरतापूर्वक करने की बात कही. सिविल सर्जन डॉ ललिता सिंह ने सभी डॉक्टरों से कहा कि वे टीबी के मरीजों की सूचना समय पर दें तो इससे इलाज में आसानी होगी. इस मौके पर डॉ टीके झा, डॉ बीबी ठाकुर, डॉ आरयूएन सिन्हा, डॉ बी किशोर, डॉ एचएन भारद्वाज, डॉ केके सिन्हा, डॉ सीके दास, डॉ एके मिश्रा ने भी अपने विचार रखे. धन्यवाद ज्ञापन आइएमए के सचिव सीबी कुमार ने किया.