मुजफ्फरपुर: जिला परिषद सभागार में बुधवार को आयोजित मेगा शिक्षा ऋण शिविर में 46 छात्रों ने 1.64 करोड़ रुपये ऋण का आवेदन दिया. शिविर में सौ से अधिक संख्या में जिले के विभिन्न जगहों से छात्र पहुंचे. हालांकि, जानकारी के अभाव में अभी भी छात्रों को इसका पूरा लाभ नहीं मिल पा रहा है. कारण यह कि कैंप में मौजूद कई बैंकों के अधिकारी इसमें कुछ खास रुचि नहीं ले रहे हैं. एलडीएम के आदेश के बावजूद कैंप में बैंक पदाधिकारी अपना बैनर पोस्टर नहीं लगा रहे हैं. इससे छात्रों को परेशानी हो रही है. उन्हें पता ही नहीं चल पा रहा है कि कौन अधिकारी किस बैंक का हो और कहां बैठा है. राज्य सरकार के निर्देश पर जुलाई माह के प्रत्येक बुधवार को शिक्षा ऋण शिविर लगाया जा रहा है.
इन बैंकों के प्रतिनिधि आये
बुधवार को आयोजित शिविर में ओरियंटल बैंक ऑफ कॉमर्स, एक्सिस बैंक, आइसीआइसीआइ बैंक, स्टेट बैंक ऑफ बीकानेर एंड जयपुर, सिंडिकेट बैंक, विजया बैंक के प्रतिनिधि अनुपस्थित रहे. इससे पहले 17 जुलाई के शिविर में भी सिंडिकेट बैंक, आइसीआइसीआइ बैंक, बैंक ऑफ महाराष्ट्र, फेडरल बैंक, पंजाब एंड सिंध बैंक के अधिकारी अनुपस्थित थे.
इस संबंध में एलडीएम डॉ एचके झा ने बताया कि शिविर में भाग नहीं लेने वाले बैंकों की रिपोर्ट स्टेट लेवल बैंकर्स कमेटी (एसएलबीसी) में पेश की जायेगी. वहीं 31 जुलाई के ऋण कैंप में सभी बैंकों से कहा गया कि वह अपने बैनर के साथ आएं ताकि छात्रों को परेशानी न हो. साथ ही अभिभावकों से कहा कि अगर उन्होंने पूर्व में किसी प्रकार की ऋण ले रखी है तो इसकी जानकारी जरूर दें. बाद में जानकारी मिलने पर आवेदन रद्द हो जायेगा. शिविर में वरीय उप समाहर्ता (बैंकिंग) आदित्य कुमार झा, पीएनबी के बाल मुकुंद प्रसाद सिंह, एसके मोहन, एफएलसीसी जेडआइ अंसारी, भुवनेश्वर कुमार, सुनील कुमार, उमाशंकर कुमार सहित विभिन्न बैंकों के जिला समन्वयक मौजूद थे.