जलजमाव से ग्राहकों को होती है परेशानी
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सूतापट्टी : उत्तर भारत की मशहूर कपड़ा मंडी, पर सुविधाएं नहीं
जलजमाव से ग्राहकों को होती है परेशानी नेपाल व बंगाल के कारोबारी यहीं से मंगाते हैं कपड़े मुजफ्फपुर : शहर के प्रमुख बाजार में शुमार होनेवाला सूतापट्टी उत्तर भारत की मशहूर कपड़ा मंडी के रूप में जाना जाता है. यहां से हर महीने अरबों का कारोबार होता है. सूरत से यहां सीधे कपड़ों की खेप […]
नेपाल व बंगाल के कारोबारी यहीं से मंगाते हैं कपड़े
मुजफ्फपुर : शहर के प्रमुख बाजार में शुमार होनेवाला सूतापट्टी उत्तर भारत की मशहूर कपड़ा मंडी के रूप में जाना जाता है. यहां से हर महीने अरबों का कारोबार होता है. सूरत से यहां सीधे कपड़ों की खेप आती है. बिहार, बंगाल व नेपाल के कारोबारी यहीं से कपड़ा मंगाते हैं. सूतापट्टी में करीब 700 होलसेल व खुदरा कपड़े की दुकानें हैं. यहां से हर महीने सरकार को चार से पांच लाख रुपये का टैक्स प्राप्त होता है.
बावजूद सूतापट्टी में सुविधाओं का अभाव है. शहर की प्रमुख मंडी होने के बावजूद यहां दुकानदारों व ग्राहकों के लिए कोई सुविधा नहीं है. इससे बाहर से आनेवाले कारोबारियों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है. इस इलाके में यूरिनल, शौचालय, सड़क, नाले व बिजली आपूर्ति की व्यवस्था दशकों पुरानी है.
नगर निगम ने इस क्षेत्र में यूरिनल व शौचालय नहीं बनाया है. बिजली आपूर्ति का सिस्टम भी पुराना है. दुकानों के ऊपर व सड़कों पर लगे पोल से नंगे वायर से बिजली की अापूर्ति की जाती है. इससे कभी भी दुर्घटना हो सकती है. यहां के दुकानदारों ने बिजली विभाग से कई बार तार बदलने की मांग की, लेकिन इसे दुरुस्त नहीं किया गया. दुकानदारों का कहना है कि कभी भी शॉर्ट सर्किट से यहां बड़ा नुकसान हो सकता है.
इन सुविधाओं
का अभाव
इलाके में यूरिनल व शौचालय नहीं है
स्ट्रीट लाइट की व्यवस्था दुरुस्त नहीं है
सड़कें जर्जर स्थित में हैं
नालों के दुरुस्त नहीं होने से जलजमाव रहता है
टेलीफोन के पोल बेतरतीब ढंग से लगे हैं
सुरक्षा के लिए इलाके में पुलिस व्यवस्था नहीं है
सूतापट्टी रोड में वन वे नहीं होने से जाम लगना
सूतापट्टी में हमलोग वर्षों से कारोबार कर रहे हैं. कभी यहां बदलाव नहीं दिखा. बरसात के समय जलजमाव से काफी परेशानी होती है. यहां यूरिनल नहीं होने के कारण हमलोगों को दुकान छोड़ कर दूर जाना पड़ता है. यहां सफाई की व्यवस्था अच्छी नहीं है. अक्सर जाम लगने से ग्राहकों को काफी परेशानी होती है. नगर निगम इस पर ध्यान दे, तो स्थिति में सुधार हो.
आदित्य विक्रम छापड़िया, कमीशन एजेंट, कपड़ा कारोबार
सूतापट्टी में होता है अरबों का कारोबार
समस्याओं का है अंबार
सूतापट्टी की समस्या वर्षों से एक जैसी है. थोक वस्त्र विक्रेता ट्रस्ट की ओर से एक गली में पांच यूरिनल बनवाये गये, लेकिन ये पर्याप्त नहीं हैं. नगर निगम को इसके लिए कई बार लिखा गया, लेकिन यूरिनल व शौचालय नहीं बना. बरसात में जलजमाव यहां की मुख्य समस्या है. इतना बड़ा मंडी होने के बाद भी निगम का ध्यान नहीं है, जबकि यहां से लाखों का टैक्स निगम काे प्राप्त होता है. यहां यूरिनल व शौचालय की व्यवस्था होनी चाहिए. निगम हमलोगों से सहयोग मांगे, तो हम सभी इसके लिए तैयार हैं. पहले यहां चार सिपाही सुबह से रात तक तैनात रहते थे, अब उन्हें हटा लिया गया है. सूतापट्टी में समस्याओं का अंबार है. बाहर के कारोबारियों को इससे काफी परेशानी होती है.
मोतीलाल छापड़िया, अध्यक्ष, चैंबर ऑफ कॉमर्स
हम यहां पिछले 20 वर्षों से काम कर रहे हैं. समस्याएं जस की तस हैं. इसमें कभी सुधार नहीं हुआ. बरसात में काफी परेशानी होती है. जाम की समस्या भी लगातार बनी रहती है. यहां आने वाले ग्राहकों को कपड़े लेकर जाने में काफी परेशानी झेलनी पड़ती है. बिजली का तार नंगे होने से हमेशा असुरक्षा की स्थिति रहती है.
दिलीप कुमार, कर्मचारी, कपड़ा दुकान
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