मधुबनी : खादी वस्त्र नहीं विचार है विषय पर संगोष्ठी टाउन क्लब रोड में हुई. स्व. महात्मा गांधी के चित्र पर माल्यापर्ण के बाद आयोजित कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रो जेपी सिंह ने की. श्री सिंह ने कहा कि खादी एक ऐसा वस्त्र है जिसके माध्यम से भारत की अर्थ व्यवस्था पर प्रभाव पड़ता है. यदि खादी संघ की सपनों को हम साकार करते हैं तो और उपभोक्ता वस्तुओं को प्रयोग करते हैं तो खादी वस्त्र को आगे बढ़ा सकते हैं.
खादी कपड़ा पर जब महात्मा गांधी बोलते थे तो उनका मकसद था कि खादी वस्त्र धारण करने से जहां शारीरिक लाभ होता है. वहीं इससे मिलने वाली राशि से देश का विकास भी होगा. कार्यक्रम में अगम लाल यादव ने कहा कि खादी के नाम पर अब सिर्फ राजनीति होता है. नेताओं को खादी कार्यक्रम में आने में परहेज होता है. श्री यादव ने कहा कि सभी राजनीतिक दल के लोग हैंडलूम का वस्त्र पहनते हैं. उनको खादी वस्त्र पहनने में भी परेशानी होता है.
उन्होंने आम लोगों को खादी को आगे बढ़ाने के लिए संकल्प लेने का आह्वान किया. कार्यक्रम में असलम अंसारी ने कहा कि खादी से देश का पहचान बनता है. दूसरे देश के लोग हमारे यहां के खादी का वस्त्र को देखकर खुश होते है. खादी को आगे बढ़ाने के लिए सभी को एकजुट होना होगा. इस अवसर पर ज्योति रमण झा बाबा ने कहा कि महात्मा गांधी राजनेता ही नहीं संत थे. इस अवसर पर जियाउल रहमान ने कहा कि खादी वस्त्र का अगर सही तरीका से मार्केटिंग होगा तो इससे जुटे लाखों कामगार के बच्चों को योजना मिलेगा. कार्यक्रम में अरुण चौधरी, डॉ अरविंद शर्मा, सुरेश चौधरी, राही जी व सुधीर चौधरी ने भाग लिया.
शोक सभा का आयोजन
मधुबनी छ भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी मधुबनी जिला परिषद द्वारा माकपा व सीटू के वरिष्ठ नेता चंडी प्रसाद के निधन पर शोक व्यक्त किया गया. इस अवसर पर भाकपा के जिला मंत्री मिथिलेश कुमार झा ने कह कि चंडी प्रसाद के निधन से कम्युनिस्ट आंदोलन को बड़ी क्षति हुई है. वाम मोर्चा चंडी प्रसाद के अधूरे कामों को पूरा करने के लिए संगठित आंदोलन करेगी, शोषित पीड़ित तथा मजदूर वर्ग की आवाज को बुलंद करेगी. शोक संवेदना व्यक्त करने वालों में पार्टी जिला परिषद सदस्य मोती लाल शर्मर, ललन झा, सत्य नारायण राय, मनोज मिश्र, संजीव चौधरी, शहर परिषद सदस्य दाउद, इसमाइल, मनतोर देवी व राज श्री किरण शामिल हैं.