मोहनिया(सदर) : अषाढ़ बीतने मे अब शेष 19 दिन ही रह गये हैं. लेकिन, बारिश का नहीं होना खरीफ फसल के पिछड़ने का संकेत है. किसानों ने अपने खेतों की जुताई कर मेढ़ों को दुरुस्त कर लिया है, ताकि अच्छी बारिश होते ही धान की रोपनी शुरु की जा सके. पिछले दिनों हुई बारिश के बाद मिट्टी में कुछ नमी आ गयी है.
इससे किसान फिलहाल ट्रैक्टर से खेत जोतने में लगे हुए हैं. पहला चास होने के बाद खेत की घास भी सूख जाती है और पानी मिलते ही मिट्टी बिल्कुल घुल जाती है. खेतों में पानी भरने के बाद जोताई कर रोपनी करा दी जाती है. पानी की आस मे किसानों ने खेत को भी तैयार करना शुरु कर दिया है. बारिश होते ही धान की रोपनी शुरू हो जायेगी.