भभुआ (नगर) : पुत्रों के लंबी उग्र के लिए शुक्रवार को निजर्ला उपवास रख कर माताएं जीउतिया व्रत करेंगी. इसको लेकर व्रती महिलाएं गुरुवार की शाम को ही नोनी का साग, सतपुतिया व कंदा की सब्जी आदि भोजन ग्रहण करने के बाद शुक्रवार को 24 घंटे का उपवास करेंगी व अपने पुत्र की दीर्घायु होने की कामना करेंगी. जानकारी के अनुसार, कृष्णपक्ष के अष्टमी को पुत्रवती महिलाएं निजर्ला व्रत रख कर अपने पुत्र के दीर्घायु होने के लिए व्रत रखती हैं.
व्रती माताएं सोने या कच्चे धागे की जीउतिया गले में धारण करती है. इस संबंध में ज्योतिषाचार्य बागेश्वरी द्विवेदी ने बताया कि इस वर्ष आद्रा नक्षत्र व वरीयान योग में जीउतिया व्रत का संयोग है.
उन्होंने बताया कि इसको लेकर व्रती माताएं शुक्रवार के सूर्योदय से अगले सूर्योदय तक निजर्ला उपवास रख कर नदी, आहर, पोखर व अपने घरों में स्नान कर गोधूलि बेला में भगवान जीमूत वाहन की पूजा करती है. इस वर्ष 24 घंटे के उपवास के बाद शनिवार के सूर्योदय के बाद अर्घ देकर पारण करेंगी.