दो माह तक नहीं मिली थी पार्सल की सूचना
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ट्रेनों की तर्ज पर अब पार्सल की भी मिलेगी जानकारी
दो माह तक नहीं मिली थी पार्सल की सूचना गोपालगंज : सरेया के हरिहर सिंह उतराखंड में नौकरी करते हैं. काठगोदाम से सीवान के लिए 23 अप्रैल, 2017 को बेड बुक कराया. दो माह तक जब बेड का कोई पता नहीं चला तो वह गोरखपुर स्थित रेलवे के वाणिज्य विभाग कार्यालय पहुंचे और शिकायत दर्ज […]
गोपालगंज : सरेया के हरिहर सिंह उतराखंड में नौकरी करते हैं. काठगोदाम से सीवान के लिए 23 अप्रैल, 2017 को बेड बुक कराया. दो माह तक जब बेड का कोई पता नहीं चला तो वह गोरखपुर स्थित रेलवे के वाणिज्य विभाग कार्यालय पहुंचे और शिकायत दर्ज करायी. कार्यालय की कई बार परिक्रमा लगाने के बाद बेड मिला. पर अब यह समस्या नहीं आयेगी. भारतीय रेल में नेशनल ट्रेन इन्क्वायरी सिस्टम (एनटीईएस) की तरह पार्सल मैनेजमेंट सिस्टम (पीएमएस) लागू किया जा रहा है. इस प्रणाली में रेल उपभोक्ता घर बैठे यह जान सकेंगे कि उनका बुक सामान कहां है. पहले चरण में सीवान, छपरा और लखनऊ स्टेशनों का चयन किया गया है़ इन स्टेशनों के पार्सल घरों को उपकरण मुहैया कराया गया है़
थावे होगा शामिल
दूसरे चरण में गोरखपुर, थावे, कप्तानगंज और अन्य प्रमुख स्टेशनों में यह लागू होगा़ फिलहाल, नार्दर्न रेलवे में पीएमएस कार्य करने लगा है. रेल प्रशासन का कहना है कि धीरे-धीरे सभी क्षेत्रीय रेलवे में यह सिस्टम लागू हो जायेगा. दरअसल ट्रेनों से आनेवाले पार्सल के पहुंचने में महीनों लग जाते हैं. रेल उपभोक्ताओं को पता नहीं चल पाता कि उनका सामान कहां है और कब पहुंचेगा. इस सिस्टम के लागू होने से रेल उपभोक्ताओं को लाभ मिलेगा़
लागू होगा सिस्टम
पूर्वोत्तर रेलवे में नये साल में पार्सल मैनेजमेंट सिस्टम कार्य करने लगेगा. सिस्टम को लागू करने की प्रक्रिया शुरू हो गयी है. यात्रियों को जिस तरह एनटीईएस पर ट्रेनों की जानकारी मिल जाती है, उसी तरह पीएमएस पर पार्सल की भी सूचना मिलती रहेगी.
संजय यादव, सीपीआरओ, पूर्वोत्तर रेलवे
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