गया: पटना का नाम बदल कर पाटलिपुत्र करने व पिछड़े-अतिपिछड़ों को भी सरकारी नौकरियों में प्रोन्नति में आरक्षण आदि की मांग को लेकर अखिल भारतीय महात्मा फुले समता परिषद के बैनर तले गया समेत राज्य के सभी जिला मुख्यालयों पर बुधवार को धरना दिया गया. गया में डीएम ऑफिस के समक्ष स्थित आंबेडकर पार्क में आयोजित धरने की अध्यक्षता करते हुए परिषद के जिलाध्यक्ष विनय कुमार कुशवाहा ने कहा कि आरक्षण के नाम पर केंद्र व राज्य सरकार पिछड़े व अतिपिछड़ों को सिर्फ ठगने का काम कर रही है.
आर्थिक, शैक्षणिक व सामाजिक रूप से पिछड़े इन वर्गो के विकास के लिए अब तक न तो अलग बजट का प्रावधान किया जा सका है और न ही सरकारी नौकरियों में प्रोन्नति में आरक्षण की व्यवस्था की गयी है. उन्होंने कहा कि इन वर्गो की महिलाओं के लिए आरक्षित कोटे में आरक्षण की आवश्यकता है.
उन्होंने कहा कि विहार (बिहार) गौतम बुद्ध की कर्मस्थली रही है, जिसकी राजधानी पाटलिपुत्र रही है, न कि पटना. इस आधार पर पटना का नाम बदल कर पाटलिपुत्र करने की आवश्यकता है. उन्होंने बताया कि इन्हीं मांगों को लेकर राज्यव्यापी धरना दिया गया व जिला प्रशासन को ज्ञापन सौंपा गया. धरना को विक्रमादित्य कुशवाहा, मनोज प्रसाद, हेमराज कुशवाहा, रंजन पासवान, बबन सिंह, इ सुनील कुमार, केदार वर्मा, यमुना प्रसाद, अनिल विश्वकर्मा, प्रो सुमन विश्वकर्मा, अजीत यादव, वीरेंद्र कुमार सिंह आदि ने भी संबोधित किया.