फतेहपुर: समाजसेवी महेश व सरिता की तसवीर पर शब्दो गांव के लोगों ने माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि दी. दोनों की हत्या 24 जनवरी 2004 की शाम 7:5 बजे के करीब प्रखंड के जम्हेता गांव के पतलोटीया आहर के समीप अपराधियों ने गोली मार कर कर दी थी. दोनों ने इस प्रखंड को 2001 में विकास के लिए चुना था, जिसके लिए दोनों ने अपना सब कुछ त्याग कर दिन-रात लगे हुए थे. इन दोनों ने प्रखंड के पहाड़पुर पंचायत के शब्दो गांव को आदर्श गांव बनाने का बीड़ा उठाया था.
उनके शहादत को याद रखने वाला कोई नहीं है. महेश व सरिता ने इस गांव में विकास के लिए एकता का पाठ पढ़ाया. पूरे गांव के खेत का मेड को तोड़ कर सामूहिक खेती करवाना चालू करवाया था. शब्दो में जगजननी केंद्र, पशुधन केंद्र, महिला मंडल का निर्माण अधूरा पड़ा है. गांव के प्रसादी मंडल, रामाशीष यादव ने उनके अधूरे सपना को पूरा करने के लिए महेश के भाई मणिकांत ने लोगों से संपर्क किया. लेकिन, सिर्फ लोगों द्वारा आश्वासन ही मिला. गांव के लोगों का अब भी विश्वास है कि कोई आयेगा और महेश-सरिता के अधूरे सपने को पूरा करेगा. इनका इंतजार कब खत्म होगा. इसका जवाब किसी के पास नहीं है़