गया: महाबोधि मंदिर सहित बोधगया के कई स्थानों पर हुए बम धमाकों के बाद, यहां स्थित विभिन्न देशों के बौद्ध महाविहारों की सुरक्षा का सवाल उठ गया है. रविवार को बोधगया में हुए धमाकों के बाद से यहां के बौद्ध मठों में रह रहे भिक्षुओं में भय व दहशत है. बोधगया ही नहीं, बम धमाकों की गूंज विदेशों तक पहुंच गयी है. कई देशों के मठ यहां है. उन सभी देशों की सरकारों ने मठों से संपर्क किया है. कई देश तो इस स्थिति से काफी चिंतित हैं.
पहुंचे श्रीलंका के प्रतिनिधि
सोमवार को श्रीलंका के राष्ट्रपति महिंदा राजपक्षे ने तीन लोगों को भेज कर महाबोधि सोसाइटी ऑफ इंडिया का हालचाल जानने की कोशिश की. यहां सहायक भिक्षु इंचार्ज भिक्खु मेदंकर ने बताया कि राष्ट्रपति ने तीन लोगों को यहां की स्थिति का जायजा लेने के लिए भेजा है.
निरंतर पैट्रोलिंग की जरूरत
बोधगया में लगभग 50 से ज्यादा की संख्या में स्थित बौद्ध मठों की सुरक्षा के सवाल पर ऑल इंडिया भिक्खु संघ के कोषाध्यक्ष भिक्खु प्रज्ञादीप ने कहा कि पैट्रोलिंग तो दूर, सभी सड़कों पर लाइटें भी नहीं है. उन्होंने कहा कि रात की गश्त बढ़ाने की जरूरत है. यहां पर्याप्त संख्या में पुलिस की तैनाती भी जरूरी समझी जा रही है.
जागरूकता पर भी जोर
बम धमाकों के बाद सोमवार को बोधगया स्थित बौद्ध मठों के प्रतिनिधियों के साथ सिटी एसपी ने बैठक में कहा कि मठ अपने कर्मचारियों पर भी नजर रखें. यह भी कि कर्मचारी को रखते वक्त उसकी पूरी सूचना थाने को भी दें. सिटी एसपी ने कहा कि संदिग्ध रूप से मठ के आसपास घूमते हुए किसी को देखने पर पुलिस को तुरंत सूचना दी जानी चाहिए, ताकि उस पर पुलिस भी नजर रख सके. इंटरनेशनल बुद्धिस्ट काउंसिल के महासचिव किरण लामा ने कहा कि सुरक्षा बढ़ाने की मांग तो पहले ही की गयी थी. अब पुलिस ने भरोसा दिया है कि वह इस दिशा में सोच रही है.