13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

पीएचइडी की गलती से कब तक प्यासे रहेंगे शहरवासी

पेयजल संकट. ऑडिट टीम ने जलापूर्ति पर उठाये सवाल दरभंगा : वित्तीय वर्ष 2005-06 में शहरी जलापूर्ति योजना का शिलान्यास करते हुए तत्कालीन नगर विकास एवं आवास मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने घोषणा की थी कि दो वर्ष में यह योजना पूरी हो जोयगी और शहरवासियों को जलसंकट से निजात मिल जायेगी. नगर निगम के […]

पेयजल संकट. ऑडिट टीम ने जलापूर्ति पर उठाये सवाल

दरभंगा : वित्तीय वर्ष 2005-06 में शहरी जलापूर्ति योजना का शिलान्यास करते हुए तत्कालीन नगर विकास एवं आवास मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने घोषणा की थी कि दो वर्ष में यह योजना पूरी हो जोयगी और शहरवासियों को जलसंकट से निजात मिल जायेगी. नगर निगम के माध्यम से इस योजना के कार्य एजेंसी पीएचइडी को वित्तीय वर्ष 2005-06 से 2012-13 के दौरान फेज एक मद में 8 करोड़ 73 लाख 59 हजार तथा फेज दो मद में 22 करोड़ 84 लाख 09 हजार रुपये दी गयी.
30 करोड़ रुपये हुए खर्च
करीब 30 करोड़ रुपये खर्च होने के बावजूद एक भी योजना के चालू नहीं होने पर नगर निगम ने बार-बार कार्य एजेंसी से पत्राचार किया. 3 नवंबर 2014 को पीएचइडी ने जो प्रतिवेदन भेजा, उसके अनुसार जलमीनार का निर्माण, पम्प हाउस एवं पाइप लाइन बिछाने का काम को पूर्ण होने की स्थिति में बताया गया था.
इस बीच राज्य सरकार की ऑडिट टीम ने इस योजना पर हुए व्यय की जांच के क्रम में कई सवाल उठाये हैं. कार्य एजेंसी की ओर से आठ वर्ष से अधिक समय बीतने के बाद भी इस महत्वपूर्ण जलापूर्ति योजना को पूर्ण नहीं करना उनकी कार्य तत्परता में लापरवाही का द्योतक है. ऑडिट टीम ने समर्पित प्रतिवेदन का हवाला देते हुए बताया है
कि फेज एक एवं दो के अंतर्गत कुल 12 स्थलों में से कहीं भी कार्य पूर्ण नहीं हुआ है. दरभंगा नगर निगम क्षेत्र में आवश्यक अनुमान के अनुसार 93.57 लाख गैलन में से वर्तमान में मात्र 9.20 लाख गैलन पानी की ही आपूर्ति हो रही है. जनगणना रिपोर्ट 2011 के अनुसार शहर की कुल जनसंख्या 2 लाख 67 हजार 348 है. इसके अनुसार 35 गैलन प्रति कैपिटा की जलापूर्ति की योजना थी.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें