सरकारी व निजी क्षेत्र के दर्जनों पुरस्कार से किये गये सम्मानित
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सांख्यिकी के विकास में प्रशांत का अहम योगदान
सरकारी व निजी क्षेत्र के दर्जनों पुरस्कार से किये गये सम्मानित जन्मदिन पर मनाया गया सांख्यिकी दिवस दरभंगा : जिला सांख्यिकी कार्यालय में प्रशांत चन्द्र महाल नोविस के जन्म दिन पर ” सांख्यिकी दिवस ” समारोहपूर्वक मनाया गया. जिला सांख्यिकी पदाधिकारी सुरेन्द्र मोची ने इसकी अध्यक्षता की. कार्यक्रम का शुभारंभ सांख्यिकी पदाधिकारी, जिला कृषि पदाधिकारी […]
जन्मदिन पर मनाया गया सांख्यिकी दिवस
दरभंगा : जिला सांख्यिकी कार्यालय में प्रशांत चन्द्र महाल नोविस के जन्म दिन पर ” सांख्यिकी दिवस ” समारोहपूर्वक मनाया गया. जिला सांख्यिकी पदाधिकारी सुरेन्द्र मोची ने इसकी अध्यक्षता की. कार्यक्रम का शुभारंभ सांख्यिकी पदाधिकारी, जिला कृषि पदाधिकारी एवं डीपीआरओ ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्जवलित कर किया. स्वागत भाषण में जिला सांख्यिकी पदाधिकारी ने प्रशांत चन्द्र महाल नोविस की जीवनी के बारे में बताया. कहा कि इनका जन्म 29 जून 1893 को कोलकाता में हुआ था. मैट्रिक की परीक्षा 1908 में पास की. 1912 में प्रेसीडेन्सी कॉलेज से भौतिकी विषय में ऑनर्स करके उच्च शिक्षा हेतु लंदन चले गए.
लंदन के कैब्रिज विश्वविद्यालय से भौतिकी एवं गणित में डिग्री हासिल कर वापस आकर 1959 में भारतीय सांख्यिकी संस्थान की स्थापना कोलकाता में की. इसकी शाखाएं देश के प्रमुख शहरों में है. जिला कृषि पदाधिकारी ने बताया कि महाल नोविस का सबसे बड़ा योगदान उनके द्वारा शुरू किया गया सैपंल सर्वें एवं सिस्टमैटिक रेंडम सैम्पलिंग संकल्पना है. इसके आधार पर आज के युग में बड़ी-बड़ी नीतियां एवं योजनाएं बनायी जाती है. आजादी के बाद गठित मंत्रिमंडल में इन्हें सांख्यिकी सलाहकार बनाया गया. इन्हें सन 1944 में ” वेलडन मेडल ” पुरस्कार दिया गया. सन 1945 में लंदन की रायल सोसायटी ने इन्हें अपना फेलो नियुक्त किया. सन 1950 में इन्हें ” इण्डियन साईंस कॉग्रेस ” का अध्यक्ष चुना गया. अमेरिका के ”एकोनोमैट्रिक सोसाइटी” का फेलो नियुक्त किया गया. सन 1954 में रॉयल स्टैटिस्टिकल सोसाइटी का मानद फेलो नियुक्त किया गया. सन 1957 में इन्हें देवी प्रसाद सर्वाधिकार स्वर्ण पदक दिया गया. सन 1959 में किंग्स कॉलेज का मानद फेलो नियुक्त किया गया. सन 1957 में अंतराष्ट्रीय सांख्यिकी संस्थान का ऑनररी अध्यक्ष बनाया गया.। सन 1968 में भारत सरकार ने पद्म विभूषण से सम्मानित किया. उनकी मृत्यु 28 जून 1972 को हो गयी. देश की आर्थिक योजना और सांख्यिकी विकास के क्षेत्र में प्रशांत चन्द्र महाल नोविस के उल्लेखनीय योगदान के फलस्वरूप उनके जन्म दिवस 29 जून को ” सांख्यिकी दिवस ” के रूप में मनाया जाता है. कार्यक्रम में सांख्यिकी समेत अन्य कार्यालय के कर्मचारीगण आदि मौजूद थे.
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