लोगों ने सलेमपुर- गोठहुला सड़क जाम कर किया प्रदर्शन
आरा : अनियंत्रित बालू लदे ट्रैक्टर के पलट जाने से उसमें दब कर एक महादलित मजदूर की मौत हो गयी. वह काम करने के लिए अपने गांव से आरा आ रहा था. इसी बीच सलेमपुर गांव के समीप ट्रैक्टर के नीचे दब कर उसकी मौत हो गयी. मौत की इस घटना के बाद आक्रोशित ग्रामीणों ने सलेमपुर- गोठहुला मुख्य मार्ग को जाम कर यातायात अवरुद्ध कर दिया.
आक्रोशित लोग मृतक के आश्रितों के लिए मुआवजे की मांग कर रहे थे. साथ ही घटनास्थल पर प्रशासनिक अधिकारियों को बुलाने की मांग पर डटे हुए थे.
जानकारी के अनुसार मृतक संदेश थाना क्षेत्र के अखगांव बाजार निवासी वकील डोम बताया जाता है, जो स्व सुराजी ठोम का पुत्र है. बताया जा रहा है कि वकील डोम आरा नगर पालिका में काम करता है.
प्रतिदिन वह गांव से ही आना- जाना करता था. शुक्रवार की सुबह भी वह बालू लदे ट्रैक्टर पर बैठकर आ रहा था. उसी क्रम में सलेमपुर गांव के समीप ट्रैक्टर अनियंत्रित होकर गड्ढे में पलट गया, जिससे उसमें दब कर उसकी मौत हो गयी. जबकि चालक घटना के बाद गाड़ी छोड़ कर फरार हो गया. घटना की सूचना मिलते ही मृतक के घर पर कोहराम मच गया. सूचना पाकर परिजन घटनास्थल की ओर रवाना हो गये.
आक्रोशित लोग सड़क जाम कर मुआवजे की मांग कर रहे थे. घटना की सूचना मिलते ही चांदी थाना पुलिस मौके पर पहुंच गयी और आक्रोशित लोगों को समझाने- बुझाने लगे, पर मुआवजे की मांग पर आक्रोशित ग्रामीण डटे रहे. बाद में वरीय प्रशासनिक पदाधिकारियों के पहुंचने के बाद मुआवजे की राशि का आश्वासन देने के बाद शव को उठाया गया, जिसके बाद पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल भेजा गया.
चार बच्चों के सिर से उठा माता- पिता का साया
सबसे बड़ी विडंबना यह है कि वकील डोम की मौत के बाद छोटे- छोटे चार बच्चों के सिर से माता- पिता का साया छीन गया. अब बच्चों को कौन पालेगा इसकी चिंता सताये जा रही है. पिता के शव के पास बच्चे विलख कर रो रहे थे. वकील डोम की पत्नी शीला देवी का देहांत एक वर्ष पूर्व हुई थी. इसके चार छोटे- छोटे बच्चे संतोष, कल्लू, दीपक और एक साल का अरविंद बताया जाता है.
शाम को मजदूरी करने के बाद वह घर जाता था और बच्चों को उसकी मां की कमी को महसूस नहीं होने देता था. पर आज उसके मौत के बाद पूरा परिवार टूट गया है. सबसे बड़ी समस्या बच्चों के लालन- पालन का है. हालांकि मृतक वकील पांच भाई है. बड़े भाई महेंद्र डोम ने बताया कि बच्चों की परवरिश हमलोग करेंगे. इसे पिता की कमी को महसूस नहीं होने देंगे. वहीं भाई छोटे लाल, भइया लाल तथा रवींद्र लाल ने भी बच्चों की परवरिश की बात कही.