संग्रहालय को संवार दो : 4 पांच मई के बाद संग्रहालय का दर्शन करने कोई नहीं पहुंचे
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अब विजिटर्स का आना भी हो गया बंद
संग्रहालय को संवार दो : 4 पांच मई के बाद संग्रहालय का दर्शन करने कोई नहीं पहुंचे भागलपुर संग्रहालय लगातार उपेक्षित है और प्रशासन को इस बात से कोई मतलब नहीं है. अब तो विजिटर्स का आना भी बंद हो गया है. संग्रहालय को स्थायी अध्यक्ष नहीं मिले, तो यह बदहाल स्थिति में पहुंच जायेगा. […]
भागलपुर संग्रहालय लगातार उपेक्षित है और प्रशासन को इस बात से कोई मतलब नहीं है. अब तो विजिटर्स का आना भी बंद हो गया है. संग्रहालय को स्थायी अध्यक्ष नहीं मिले, तो यह बदहाल स्थिति में पहुंच जायेगा. पिछले डेढ़ वर्षों में इसे संवारने के लिए किये गये सारे जतन बेकार हो जायेंगे.
भागलपुर : भागलपुर संग्रहालय लगातार उपेक्षित है और प्रशासन को इस बात से कोई मतलब नहीं है. अब तो विजिटर्स का आना भी बंद हो गया है. संग्रहालय को स्थायी अध्यक्ष नहीं मिले, तो यह बदहाल स्थिति में पहुंच जायेगा. पिछले डेढ़ वर्षों में इसे संवारने के लिए किये गये सारे जतन बेकार हो जायेंगे.
संग्रहालय के बारे में
सुबह 10.30 से दोपहर 4.30 बजे तक खुला, सोमवार को होता है साप्ताहिक अवकाश
राष्ट्रीय अवकाश पर बंद रहता है संग्रहालय, स्मोकिंग पर सख्त पाबंदी लगी हुई है व इजाजत मिलने पर कर सकते हैं फोटोग्राफी
कोई बतानेवाला नहीं पुरावशेषों का परिचय
लोग संग्रहालय क्यों पहुंचे. यह बड़ा सवाल है. संग्रहालय अध्यक्ष शंकर कुमार सुमन यहां अतिरिक्त प्रभार में हैं. वह कभी-कभार आते हैं. उनके अलावा किसी भी कर्मचारी को किसी भी पुरावशेषों की जानकारी नहीं. आनेवाले विजिटर्स या तो खुद पुरातत्व के जानकार हों या फिर पुरातत्व विद को साथ लेकर आएं. व्यावहारिक रूप से यह संभव नहीं है. यह सबसे बड़ा कारण है संग्रहालय से विजिटर्स के आकर्षण घटने का.
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