सरकार की घोषणा होते ही अपनी गाड़ी में पेट्रोल भराने के लिए लोग पेट्रोल पंप पर इस आशा में पहुंचने लगे कि वहां शायद उनकी जेब में पड़ा पांच सौ और हजार का नोट काम आ जाये. लोगों ने कचहरी चौक स्थित एक पेट्रोल पंप पर गाड़ी में पेट्रोल भराने के बाद जैसे ही विक्रेता को पांच सौ का नोट दिया, तो विक्रेता ने लेने से मना कर दिया. इसके बाद गाड़ी चालक और विक्रेता के बीच तू-तू मैं-मैं होने लगी. पांच सौ हजार का नोट विक्रेता को नहीं लेते देख, अन्य गाड़ी चालक जिनके पास सौ या अन्य के नोट नहीं थे, वे वहां से निकलने लगे, लेकिन जिन लोगों को पांच सौ और हजार के नोट के बंद होने की जानकारी नहीं थी, वे पेट्रोल पंप पर पहुंचते रहे.
सैंडिस कंपाउंड के सामने स्थित एचडीएफसी के एटीएम से सौ का नोट निकल रहा था, तो वहां पैसे निकालने के लिए लोगों की भीड़ लगी थी. लेकिन चूंकि एक बार में पांच सौ निकालने पर ही सौ का नोट मिल सकता था, तो लोग कम से कम दो-तीन बार ट्रांजेक्शन कर रहे थे और इसमें उनको काफी विलंब हो जा रहा था. इस कारण एटीएम के बाहर खड़े लोगों की लाइन लंबी होती गयी. जिन लोगों ने लाइन से बचने के लिए दूसरे एटीएम का रुख, वे एक एटीएम से दूसरे एटीएम तक भटकते रहे और उनको नोट नहीं मिल पाया.