भागलपुर: विश्वविद्यालय थाने की जीप की ठोकर से मंगलवार को घायल छात्र अंशु राज की मौत के बाद बुधवार को छात्रों का आक्रोश पुलिस के खिलाफ फूट पड़ा. गुस्साये छात्रों ने विश्वविद्यालय थाना में जम कर तोड़फोड़ की. थाने की जीप व पूरे थाने को पेट्रोल डाल कर जलाने का प्रयास किया. थाना के मालखाने में रखे कई एक्जीविटों (सबूत) को छात्रों ने आग के हवाले कर दिया.
पुलिस ने लाठी चार्ज किया तो छात्रों ने पुलिस और थाने पर हमला कर दिया. लाठी-डंडे से लैस छात्र पुलिस पर पथराव करने लगे. इसमें सिटी डीएसपी, तीन इंस्पेक्टर, एक थानाध्यक्ष समेत करीब 50 पुलिसकर्मी घायल हो गये. लाठी चार्ज में करीब 50 छात्र भी जख्मी हुए हैं. पुलिस ने 30 उपद्रवी छात्रों को गिरफ्तार किया है. एसएसपी राजेश कुमार ने तत्काल ही विश्वविद्यालय थाना के थानाध्यक्ष अनिल कुमार मिश्र को हटा दिया है.
सराय, विश्वविद्यालय व साहेबजगंज इलाके में पुलिस व प्रशासन के अधिकारी कैंप कर रहे हैं. फिलहाल हालात काबू में है. पुलिस लाइन व सीटीएस से करीब 500 अतिरिक्त पुलिस फोर्स की तैनाती इलाके में की गयी है, ताकि शांति बहाल हो सके. अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद, माले, आइसा, एक्टू व छात्र समागम ने घटना के विरोध में गुरुवार को भागलपुर बंद बुलाया है. वहीं स्थानीय सांसद शहनवाज हुसैन ने घटना की न्यायिक जांच की मांग की है. देर शाम मृतक का अंतिम संस्कार भागलपुर के गंगा घाट पर कर दिया गया.
क्यों भड़का छात्रों का आक्रोश
मंगलवार शाम में क्रिकेट खेल कर लॉज लौट रहे छात्र अंशु राज (22) विश्वविद्यालय थाना की जीप की ठोकर से विश्वविद्यालय अतिथिशाला के पास घायल हो गया. साथियों ने उसे तातारपुर रहमान क्लिनिक में भरती कराया, जहां इलाज के दौरान बुधवार अहले सुबह उसकी मौत हो गयी. मौत के बाद छात्र नेत्री रिंकी व मृत्युंजय के नेतृत्व में छात्रों का हुजूम विश्वविद्यालय थाना पहुंचा और पुलिस के खिलाफ नारेबाजी करने लगा.
लाश के साथ सड़क जाम
अंशु की लाश के साथ थाने के बाहर सड़क पर आगजनी कर जाम कर दिया गया. जब तक पुलिस संभल पाती, छात्रों ने थाने में घुस कर तोड़फोड़ शुरू कर दी. ऑन ड्यूटी एएसआइ नरेंद्र सिंह को मार कर घायल कर दिया. थानाध्यक्ष अनिल मिश्र ने छात्रों को रोका तो उन पर लाठी से हमला कर दिया. उनकी एक अंगुली टूट गयी. छात्रों ने सबसे पहले थाने की जीप को निशाना बनाया. उसके बाद थानाध्यक्ष की व्यक्तिगत मारुति कार को भी तोड़ दिया. थाने में रखी एक बाइक को छात्रों ने चकनाचूर कर दिया. इसके बाद बरामदे के सिरिस्ता (थाना ऑफिस) को तहस-नहस कर दिया.
पांच हजार छात्रों ने घेरा थाना, किया हमलाथाने के बाहर खड़ी एक कमांडर जीप का भी शीशा तोड़ दिया गया. थाना का बोर्ड, वन विभाग का बोर्ड, पेड़ के घेरा, रोड साइन को भी तोड़ दिया. मौके पर पहुंची सिटी डीएसपी वीणा कुमारी ने छात्रों को समझाया. लेकिन इस बीच छात्र रोड़ेबाजी करने लगे. पुलिस ने छात्रों को खदेड़ना शुरू किया. दंगा नियंत्रक वाहन बुलाया गया. करीब पांच हजार छात्रों ने पुलिस और विश्वविद्यालय थाना को सराय, साहेबगंज व मारवाड़ी कॉलेज की ओर से घेर लिया और पथराव करने लगे. उस समय पुलिस की संख्या कम थी. इस कारण छात्र भारी पड़ गये. पुलिस एक तरफ छात्रों को खदेड़ती तो दूसरी ओर छात्र पथराव करने लगते.
दोपहर ढाई बजे शांत हुआ मामला
आनन-फानन में सीटीएस व पुलिस लाइन से फोर्स मंगवाया गया. एसएसपी राजेश कुमार, वरीय उपसमाहर्ता दीवान जफर हुसैन खान, डीसीएलआर सह प्रभारी एसडीओ सुवीर रंजन मौके पर पहुंचे. इसके बाद तीन ओर से उपद्रवी छात्रों को खदेड़ना शुरू हुआ. करीब ढाई बजे तक पुलिस और छात्रों के बीच भिड़ंत होती रही. सराय, विश्वविद्यालय व साहेबगंज में पुलिस ने घर-घर तलाशी शुरू की. दनादन छात्रों की गिरफ्तारी होने लगी. इसके बाद धीरे-धीरे उपद्रवी छात्र भाग खड़े हुए. दोपहर में ढाई बजे के बाद मामला शांत हुआ.