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जेएलएनएमसीएच में टीबी मरीजों के बलगम के प्रोपर कांटेनर नहीं

जेएलएनएमसीएच में टीबी मरीजों के बलगम के प्रोपर कांटेनर नहीं- जेएलएनएमसीएच के टीबी वार्ड में मरीजों को देखने के लिए डॉक्टर व स्टाफ के पास मास्क नहीं – राज्य स्तरीय जांच टीम ने जिले के अस्पताल में टीबी वार्ड व मरीजों की व्यवस्था का लिया जायजा- पांच दिन के निरीक्षण में जेएलएनएमसीएच व सदर अस्पताल […]

जेएलएनएमसीएच में टीबी मरीजों के बलगम के प्रोपर कांटेनर नहीं- जेएलएनएमसीएच के टीबी वार्ड में मरीजों को देखने के लिए डॉक्टर व स्टाफ के पास मास्क नहीं – राज्य स्तरीय जांच टीम ने जिले के अस्पताल में टीबी वार्ड व मरीजों की व्यवस्था का लिया जायजा- पांच दिन के निरीक्षण में जेएलएनएमसीएच व सदर अस्पताल समेत छह प्रखंड का किया दौरा संवाददाता,भागलपुर जिले में यक्ष्मा रोगियों का इलाज किस तरह हो रहा है और मरीजों के लिए क्या-क्या व्यवस्था है आदि की निरीक्षण करने के लिए राज्य स्तरीय जांच टीम भागलपुर आयी थी. टीम ने कहा कि जेएलएनएमसीएच के एमडीआर विभाग में लापरवाही बरती जा रही है. मरीजों को बलगम फेंकने के लिए वार्ड में प्रोपर कांटेनर नहीं है. टीबी मरीज को देखने के क्रम में डॉक्टर व स्टाफ को मास्क भी उपलब्ध नहीं है. अपने पांच दिवसीय 27 से 31 अक्तूबर तक के दौरे में जांच टीम ने जेएलएनएमसीएच, सदर अस्पताल समेत छह प्रखंड के पीएचीसी सेंटरों की स्थिति का जायजा लिया. अब जांच टीम जिले की वर्तमान स्थिति की रिपोर्ट टीबी के स्टेट प्रोग्राम पदाधिकारी, पटना को सौंपेंगे. रिपोर्ट में जहां-जहां कमी व सुधारने की बात की जायेगी, उसपर अस्पताल व पीएचसी आगे की कार्रवाई करेंगे. जांच टीम में स्वास्थ्य विभाग के अतिरिक्त निदेशक डॉ विजय सिंह, डॉ सैयाद मुस्ताक, डॉ विजयेंद्र सत्यार्थी, डॉ लक्ष्मी रंजन, डॉ दीपक सुब्रमण्यम, डॉ काडू, डॉ प्रभाकर पांडे आदि थे. जेएलएनएमसीएच में क्या-क्या है कमी राज्य स्तरीय जांच टीम निरीक्षण में जवाहरलाल नेहरू मेडिकल अस्पताल में टीबी वार्ड के अलावा इलाज करा रहे पांच टीबी मरीजों से भी मिली. टीम ने तीन बिंदुओं पर नाराजगी व्यक्त की. टीम के डॉक्टरों ने कहा कि वार्ड में बलगम की जांच व बलगम फेंकने के लिए प्रोपर कांटेनर की सुविधा नहीं है. वार्ड में सतर्कता रखने के लिए डॉक्टरों व स्टाफ के पास मास्क की सुविधा नहीं है. दवाई के रखने के लिए प्रोपर तापमान पर नहीं रखा जा रहा है. दवा रूम में एयर कंडीशन नहीं है. स्टाफ की कमी के साथ-साथ वार्ड ब्वाय भी नहीं है. खासकर रात के शिफ्ट में एक भी वार्ड ब्वाय नहीं है. शाहकुंड व सुलतानगंज सेंटर में जांच किट नहीं जांच टीम ने शाहकुंड व सुलतानगंज दौरे में पाया कि दोनों सेंटर पर टीबी मरीजों की जांच के लिए जांच किट नहीं है, जिस कारण दोनों सेंटरों पर टीबी मरीजों का इलाज नहीं हो पाता है. टीम ने कहलगांव, सबौर, जगदीशपुर, नवगछिया सेंटर का भी निरीक्षण किया. बॉक्स में…जिले में टीबी मरीज के लिए छह नये सेंटर बनेंगेजिला यक्ष्मा पदाधिकारी डॉ अशरफ रिजवी ने बताया कि जिले में 16 टीबी मरीजों के लिए सेंटर होना चाहिए, जिसमें से छह प्रखंड में ही सेंटर उपलब्ध है. कहलगांव, सबौर, जगदीशपुर, नवगछिया, शाहकुंड व सुलतानगंज में टीबी सेंटर चल रहा है. जिन छह जगहों पर पीरपैंती, गोपालपुर, नारायणपुर, सन्हौला, आदि प्रमुख हैं.

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