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जुड़ने लगीं आरजू हत्याकांड की बिखरी कड़ियां अब एसआइटी कसेगी आरोपितों पर शिकंजा

जांच. मामले की गुत्थी को सुलझाने के करीब पहुंची पुलिस, डीआइजी ने ली जानकारी आरजू हत्याकांड एसआइटी के साथ डीआइजी विकास वैभव ने की आरजू हत्याकांड मामले में चल रही जांच की समीक्षा भागलपुर : भागलपुर का चर्चित आरजू हत्याकांड मामले की जांच कर रही एसआइटी के साथ डीआइजी विकास वैभव ने बुधवार को अपने […]

जांच. मामले की गुत्थी को सुलझाने के करीब पहुंची पुलिस, डीआइजी ने ली जानकारी

आरजू हत्याकांड
एसआइटी के साथ डीआइजी विकास वैभव ने की आरजू हत्याकांड मामले में चल रही जांच की समीक्षा
भागलपुर : भागलपुर का चर्चित आरजू हत्याकांड मामले की जांच कर रही एसआइटी के साथ डीआइजी विकास वैभव ने बुधवार को अपने कार्यालय में रिव्यू मीटिंग की. मीटिंग में उन्होंने अब तक इस मामले में की गयी पुलिसिया पड़ताल की सूक्ष्म विवेचना की. उन्होंने पाया कि इस हत्याकांड में शामिल हत्यारों व इसके मास्टरमाइंड तक पुलिस पहुंच चुकी है. सबूत की कड़ियां जो अब तक इधर-उधर बिखरी थी, वह अब जुड़ने लगी है. अब एसआइटी शिकंजा कसने जा रही है. उम्मीद है कि जल्द ही इस हत्याकांड की पटकथा रचने वाला मास्टरमाइंड व हत्यारे एसआइटी की गिरफ्त में होंगे. 10 अक्तूबर 2017 काे हबीबपुर के अधिवक्ता मजहरूल हक उर्फ आरजू अपने घर से निकले थे. उनकी बुलेट तिलकामांझी थानाक्षेत्र के जवारीपुर में लावारिस हालत में पायी गयी थी,
जबकि उनकी लाश कटिहार थानाक्षेत्र के पोठिया ओपी थानाक्षेत्र के एनएच 31 से मधेली जानेवाले हाइवे पर 11 अक्तूबर 2017 की सुबह बरामद की गयी थी. इस मामले में जिला बार एसोसिएशन ने धरना-प्रदर्शन किया था. मृतक अधिवक्ता की पत्नी सादिका परवीन की तहरीर पर जोगसर थाने में अज्ञात के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज हो गया था. इस मामले में एसआइटी गठित करते हुए इसकी कमान डीएसपी सिटी शहरियार अख्तर को सौंपी गयी थी.
डीबीए के अनुरोध पर आइजी भागलपुर जोन सुशील मानसिंह खोपड़े ने एसआइटी की कमान डीएसपी कहलगांव रामानंद प्रसाद कौशल को दे दी थी. इस मामले की रिव्यू डीआइजी ने बुधवार को अपने कार्यालय में की. एसआइटी हेड की गैर माैजूदगी में अन्य एसआइटी के साथ डीआइजी ने रिव्यू में पाया कि इस हत्याकांड पर पड़े रहस्य के पर्दे को एसआइटी हटा चुकी है. हत्या का कारण, हत्यारे व हत्याकांड की पटकथा रचनेवाले मास्टरमाइंड की शिनाख्त हो चुकी है. इनके खिलाफ सबूत तक मिल चुका है. बस इनको एक-दूसरे से जोड़ना बाकी है.
जाम में फंसे एसआइटी हेड, लेट से पहुंचे रिव्यू मीटिंग में. आरजू हत्याकांड की जांच कर रहे एसआइटी हेड डीएसपी कहलगांव रामानंद प्रसाद कौशल रास्ते में हुए भीषण जाम में फंस गये, जिससे वह रिव्यू मीटिंग में शामिल नहीं हो सके. वह दोपहर बाद करीब दाे बजे डीआइजी ऑफिस पहुंचे. डीआइजी ने उनसे देर से आने का कारण पूछा, तो उन्होंने जाम में फंसना बताया. डीआइजी ने डीएसपी कहलगांव को इस जाम से निबटने के लिए ब्लू प्रिंट बनाने को कहा. वह एसआइटी हेड के साथ आरजू हत्याकांड को लेकर बात कर आगे की कार्रवाई व जांच में उठाये जाने वाले जरूरी कदमों को लेकर आवश्यक दिशा-निर्देश दिया.
अधिवक्ता से जुड़ा आरजू हत्याकांड का तार, हत्यारे के नजदीक पहुंची एसआइटी. एसआइटी सूत्रों के अनुसार आरजू हत्याकांड में एक अधिवक्ता का नाम है. उसका इस हत्याकांड में अहम रोल है. एसआइटी के पास इसका पुख्ता सबूत है. जिस दिन हत्यारा पुलिस गिरफ्त में आया, इस अधिवक्ता के खिलाफ कार्रवाई तय है. हालांकि अधिवक्ता अपने समुदाय में अच्छा-खासा रसूख रखता है, इसलिए इसकी गिरफ्तारी को लेकर एसआइटी फूंक-फूंक कर कदम रख रही है.
आरजू हत्याकांड की जांच कर रही एसआइटी से सफलता चंद कदम की दूरी पर है. आगे की कार्रवाई व छूटी कड़ियों को जोड़ने के लिए जरूरी दिशा-निर्देश एसआइटी को दिया गया है.
विकास वैभव, डीआइजी भागलपुर पूर्वी क्षेत्र.

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