चुनावी राग जब क्षेत्र में फूटने लगते हैं तब जन प्रतिनिधि को मतदाताओं की याद आती है. इसमें से शिक्षकों का एक बड़ा समूह भी शामिल है. सरकार जिस प्रकार आश्वासन देकर शिक्षकों के साथ वादाखिलाफी कर रही है, उसी प्रकार जब मत के नाम पर प्रतिनिधि करबद्ध प्रार्थना करने पहुंचेंगे, तो उन्हें शिक्षकों का विरोध भरा स्वर सुनना पड़ेगा. धरना प्रदर्शन के दौरान युवा शिक्षकों की एक टोली बाइक से सर्वप्रथम मैट्रिक परीक्षा के मूल्यांकन केंद्र आरएमके व एसएस बालिका उच्च विद्यालय केंद्र पर पहुंचकर कार्य को बाधित किया. इसके पूर्व जिला शिक्षा पदाधिकारी कार्यालय पहुंच कर मूल्यांकन कार्य के लिए पत्र प्राप्त करने पहुंचे शिक्षकों को खदेड़ कर परिसर से बाहर निकाल दिया. साथ ही सरकार विरोधी नारे भी लगाये. इसके बाद शिक्षक नियोजन कार्यालय पहुंचकर नियोजन कार्य को बंद कराया. इधर सभी माध्यमिक विद्यालय के बंद रहने से नामांकन के लिए छात्र व उनके अभिभावक को निराश घर लौटना पड़ा. प्रमंडलीय संयुक्त सचिव नागेश्वर राय, गणोश मंडल, रुस्तम अली आदि ने कहा कि मांग पूरी नहीं होने पर 20 से 22 अप्रैल को पटना में तीन दिवसीय विरोध प्रदर्शन किया जायेगा. इस मौके पर गौतम कुमार, आलोक कुमार, सुजित कुमार,संतोष कुमार, संजय कुमार, अजय कुमार सिंह, ध्रुव मंडल, संजीत कुमार उपाध्याय, मनोज कुमार दीपक, इंदिरा कुमुद, अनुराधा कुमारी, रजनी कुमार, प्रदीप कुमार, सलमान अयूबी, राकेश रंजन, आलोक प्रकाश, सहित सभी प्रखंड अध्यक्ष, सचिव व जिला कार्यकारिणी सदस्य उपस्थित थे.
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परीक्षा के मूल्यांकन का किया बहिष्कार
बांका: जिला माध्यमिक शिक्षक संघ के नियोजित शिक्षकों ने बुधवार को समाहरणालय द्वार पर एक सूत्री मांग वेतनमान को लेकर आंदोलन के प्रथम दिन प्रदर्शन किया. यही नहीं माध्यमिक शिक्षकों ने मैट्रिक परीक्षा के मूल्यांकन कार्य के लिए पत्र प्राप्त करने पहुंचे शिक्षकों को खदेड़ कर परिसर से बाहर निकाल दिया. कार्यक्रम की अध्यक्षता कर […]
बांका: जिला माध्यमिक शिक्षक संघ के नियोजित शिक्षकों ने बुधवार को समाहरणालय द्वार पर एक सूत्री मांग वेतनमान को लेकर आंदोलन के प्रथम दिन प्रदर्शन किया. यही नहीं माध्यमिक शिक्षकों ने मैट्रिक परीक्षा के मूल्यांकन कार्य के लिए पत्र प्राप्त करने पहुंचे शिक्षकों को खदेड़ कर परिसर से बाहर निकाल दिया.
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे माध्यमिक शिक्षक संघ के अध्यक्ष भुवनेश्वर पंडित ने कहा कि शिक्षकों की मर्यादा वर्तमान सरकार में पूरी तरह धूमिल हो चुकी है. अभावग्रस्त शिक्षकों से गुणवत्तापूर्ण पढ़ाई की सरकार अपेक्षा करती है, पर इसके साथ शिक्षकों की मूल समस्या वेतनमान नहीं मिलने पर कोई चर्चा नहीं करती है. जिला सचिव नागेश्वर साह ने कहा कि शिक्षक राष्ट्र निर्माता हैं. इनके कंधों पर इतना भारी बोझ तो है, पर इस 10,000 रुपये के मासिक मानदेय में शिक्षक व उनके पूरे परिवार को कैसे समुचित ऊर्जा मिल पायेगी? मंच संचालन करते हुए प्रमंडलीय संयुक्त सचिव मनोज कुमार ने कहा कि यदि हमारी मांगे अभी पूरी नहीं हुई तो वेतनमान के लिए फिर पांच वर्ष तक इंतजार करना पड़ेगा.
भूख हड़ताल में शामिल होने की अपील की
बेलहर . प्राथमिक शिक्षक संघ बेलहर द्वारा बुधवार को आदर्श मध्य विद्यालय गोरगवां में बैठक आयोजित की गयी. इसकी अध्यक्षता शशि कुमार सुमन ने की. बैठक में यह निर्णय लिया गया कि 16 अप्रैल को पटना के गांधी मैदान में एक दिवसीय भूख हड़ताल में शामिल होने की अपील की. मौके पर संजय कुमार, अजय साह, रवींद्र पंडित, सुलोचना पांडे, कृष्ण कुमार शामिल थे.
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