अररिया: जिले में मनरेगा योजना की हालत में सुधार के संकेत अब भी नहीं मिल रहे हैं़ प्रतिदिन मानव दिवस सृजन की हालत तो और भी खस्ता है़ राज्य की तुलना में जिले का औसत एक तिहाई से भी कम है़ ऐसे चौंका देने वाले तथ्य शनिवार को डीएम की अध्यक्षता में आयोजित समीक्षात्मक बैठक में सामने आय़े वहीं मनरेगा की स्थिति पर असंतोष जताते हुए इसमें सुधार की सख्त ताकीद डीडीसी, डीआरडीए निदेशक व मनरेगा के कार्यक्रम पदाधिकारियों को दी. शनिवार को मनरेगा योजना की अपनी पहली ही समीक्षा बैठक में डीएम अजय कुमार चौधरी को योजना की खस्ताहाली का बखूबी अंदाजा हो गया़ मानव दिवस सृजन की मौजूदा स्थिति को लेकर डीएम खास तौर से खफा नजर आय़े उन्होंने कहा कि राज्य में मानव दिवस सृजन के 55 के औसत के मुकाबले जिले का औसत 18 होना हैरत में डालता है़ बैठक में दी गयी रिपोर्ट के मुताबिक फिलहाल जिले में प्रति दिन प्रति पंचायत मानव दिवस सृजन का औसत 18 है़ वैसे सिकटी की स्थिति अधिक बेहतर है़ वहां का औसत लगभग 25 है़ जबकि नरपतगंज व भरगामा सहित कुछ अन्य प्रखंडों का औसत 10 से भी कम है़ मामले को गंभीरता से लेते हुए डीएम श्री चौधरी ने प्रति दिन प्रति पंचायत मानव दिवस को बढ़ाकर 40 से 45 करने का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि मानव दिवस सृजन की राह में जो भी बाधाएं हों, उन्हें अधिकारी दूर करें़ लेकिन काम में कोताही बरदाश्त नहीं की जायेगी़ बैंकों के कथित उदासीन रवैये की बाबत उन्होंने अधिकारियों को बैंक अधिकारियों के साथ बैठक कर समस्या के निदान का भी निर्देश दिया़
बताया जाता है कि बैठक के दौरान उन्होंने फोटो व एमबी अपलोड करने के संबंध में भी महत्वपूर्ण निर्देश दिय़े डीएम कार्यालय कक्ष में हुई बैठक में डीडीसी प्रभात कुमार महथा, डीआरडीए निदेशक जफर रकीब, मनरेगा सेल के कार्यपालक अभियंता सुरेश सिंह, अर्थशास्त्री मनोज कुमार व पीओ स्वतंत्र कुमार, अनिल कुमार, राम गंगा व मनोज कुमार आदि के अलावा कनीय अभियंता व पंचायत टेक्निकल सुपरवाइजर भी उपस्थित थ़े