पणजी : गोवा के कनाकोना शहर में निर्माणाधीन पांच मंजिला एक इमारत के ध्विस्त हो जाने से कम से कम 19 लोगों की मौत हो गयी है. कई अन्य मलबे में दब गए. बचाव कार्य जारी है. गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पार्रिकर ने कहा कि कनाकोना में निर्माणाधीन इमारत के ढहने के सिलसिले में बिल्डर और संबंधित नगरनिगम अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
मुख्यमंत्री ने कहा, पुलिस ने बिल्डर और संबंधित नगरनिगम अधिकारियों के खिलाफ एक प्राथमिकी दर्ज कर ली है जिन्होंने इमारत की मंजूरी दी थी. यह हादसा अपराह्न 3 बजे के करीब हुआ. तब वहां स्थल पर 50 से ज्यादा मजदूर थे. पार्रिकर लोकगीत पर सरकारी कार्यक्रम में हिस्सा लेने कानाकोना के निकट थे. वह वहां तुरंत पहुंचे. बाद में सरकार ने कार्यक्रम रद्द करने की घोषणा की. मुख्यमंत्री ने कहा, अभी प्राथमिकता मलबे में दबे लोगों को बचाने की है और सरकार ने मलबे को हटाने के लिए सेना की मदद ली है.
गोवा अग्निशमन एवं आपात सेवाओं और सेना के जवानों ने जीवित बचे लोगों की खोज के लिए रातभर अभियान चलाया, लेकिन इस हादसे के 17 घंटे बीत जाने और मलबे का ढेर लगे होने के कारण किसी के जिंदा निकलने की संभावनाएं कम होती जा रही हैं. अग्निशमन कर्मचारियों को 20 से ज्यादा लोगों के मलबे में दबे होने की आशंका है और किसी के भी जिंदा निकलने की संभावनाएं बहुत कम हैं.
घटनास्थल पर मौजूद चिकित्सा अधिकारियों के अनुसार, निकाले गए 25 लोगों में से 19 मृत घोषित किए जा चुके हैं. इनमें से अधिकतर मजदूर थे. घटनास्थल पर मौजूद अग्निशमन अधिकारी ने बताया, बचाव कार्य जारी है. हम अंदर फंसे तीन शरीर देख सकते हैं लेकिन उन तक पहुंचना बेहद मुश्किल है. अधिकारी ने कहा, बचाव अभियान के आगे बढ़ने के साथ-साथ मरने वालों की संख्या बढ़ सकती है. उन्होंने यह भी कहा कि और लोगों के जीवित मिलने की संभावना बहुत कम है.
एक प्रत्यक्षदर्शी ने कहा, पहले मलबे से कई आवाजें आ रही थीं, जिनसे बचावकर्मियों को लोगों की स्थिति का पता लगाने में मदद मिली. ये लोग मदद के लिए चिल्ला रहे थे. उन्होंने यह भी कहा कि अब अंदर से कोई आवाज नहीं आ रही. अधिकारियों ने कहा कि इमारत को नवी मुंबई के भारत रीटेलर्स एंड डेवलपर्स द्वारा तैयार किया जा रहा था.
घटनास्थल के आसपास कीचड़ वाली जमीन की वजह से भी बचाव कर्मियों को कार्य करने में दिक्कत आ रही है. यहां पर मिट्टी हटाने वाला एक अर्थ मूवर कीचड़ में फंस गया. एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि घटनास्थल पर जमा लोगों की भीड़ को दूर रखना भी उनके लिए चुनौती बन रहा है.