नयी दिल्ली:वित्त मंत्री अरुण जेटली ने गंगा की सफाई और उसके विकास पर भी विशेष ध्यान दिया गया. नरेंद्र मोदी सरकार के आज पेश हुए पहले बजट में पवित्र गंगा नदी को स्वच्छ और निर्मल बनाने के लिए ‘नमामि गंगे’ मिशन के तहत 2037 करोड रुपये का प्रावधान किया गया है.
इसके अलावा गंगा के लिए प्रवासी भारतीय निधि बनाने का तथा इलाहाबाद से हल्दिया तक वाणिज्यिक नौवहन शुरु करने का प्रस्ताव रखा गया है. वित्त मंत्री अरण जेटली ने वर्ष 2014-15 का बजट पेश करते हुए आज कहा कि गंगा नदी के संरक्षण तथा सुधार पर भारी राशि खर्च की जा चुकी है लेकिन सभी हितधारकों द्वारा समन्वित प्रयासों के अभाव में अपेक्षित परिणाम नहीं निकले हैं.उन्होंने अपने बजट में समन्वित गंगा संरक्षण मिशन ‘नमामि गंगे’ का प्रस्ताव करते हुए कहा कि इस मिशन के लिए वर्तमान बजट में 2037 करोड रुपये की राशि का प्रावधान किया गया है.
जेटली ने कहा कि गंगा नदी के संरक्षण की दिशा में योगदान करने के लिए प्रवासी भारतीय समुदाय को प्रोत्साहित करने के मकसद से एनआरआई निधि की स्थापना की जाएगी, जो इससे संबंधित विशेष परियोजनाओं का वित्तपोषण करेगी.वित्त मंत्री ने यह भी बताया कि केदारनाथ, हरिद्वार, कानपुर, वाराणसी, इलाहाबाद, पटना और दिल्ली में नदियों के किनारे घाटों के विकास और सौंदर्यीकरण के लिए चालू वित्त वर्ष में 100 करोड रुपये की राशि रखी गयी है. उन्होंने कहा कि नदियों के पवित्र किनारे और घाट हमारी समृद्ध ऐतिहासिक विरासत हैं.
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