36.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Trending Tags:

Advertisement

Tokyo समर ओलिंपिक-2020 की तैयारी में जुट गया देश, देखें उड़नपरी पीटी उषा के साथ बातचीत का VIDEO

कुमार विश्वत सेन रांची : 24 जुलाई, 2020 से जापान की राजधानी टोक्यो में ग्रीष्मकालीन ओलिंपिक की शुरुआत की जायेगी, जो 9 अगस्त, 2020 तक चलता रहेगा. इसकी तैयारी में दुनिया के देशों के साथ हमारे देश के खिलाड़ी और उनके प्रशिक्षक अभी से ही जुट गये हैं. इन दिनों झारखंड की राजधानी रांची स्थित […]

कुमार विश्वत सेन

रांची : 24 जुलाई, 2020 से जापान की राजधानी टोक्यो में ग्रीष्मकालीन ओलिंपिक की शुरुआत की जायेगी, जो 9 अगस्त, 2020 तक चलता रहेगा. इसकी तैयारी में दुनिया के देशों के साथ हमारे देश के खिलाड़ी और उनके प्रशिक्षक अभी से ही जुट गये हैं. इन दिनों झारखंड की राजधानी रांची स्थित खेलगांव में 59वीं नेशनल ओपन एथलेटिक्स चैंपियनशिप का आयोजन किया गया है. इसमें हमने भारत की उड़नपरी पीटी उषा से खास बातचीत की. पेश है खास बातचीत का प्रमुख अंश….

प्रश्न : आपसे छह साल पहले इसी रांची में बात हुई थी, जिसमें आपने कहा था कि मैं देश के लिए खेलती रही हूं और भारत को मेडल दिलाने की कोशिश करती रहूंगी. …तो आपके स्कूल से कितने बच्चे इसमें पार्टिसिपेट किये थे और रियो ओलिंपिक-2016 में भारत को एथलीट में कितने मेडल मिले?

उत्तर : ओलिंपिक्स में एथलीट में अभी तक इंडिया को कोई मेडल नहीं मिला. मिल्खा सिंह 1.10 सेकंड में मिस हो गया और मैं 1.100 सेकंड में मिस कर गयी. उसके बाद अभी तक एक भी मेडल नहीं आया. तीन-चार लोग फाइनल में आ गया बस. रियो ओलिंपिक्स में मेरी दो लड़कियों ने पार्टिसिपेट किया था. एक लड़की ने 16 साल की उम्र में पार्टिसिपेट किया था. लड़कियां अच्छी कर रही हैं और एक लड़की यहां भी पार्टिसिपेट कर रही है. रियो में मिडिल रिले में फाइनल में आ गयी. अभी तक ट्रैक रिले के फाइनल में कोई नहीं आयी है. जिस्ना मैथ्यू नाम है उसका. अभी लास्ट वर्ल्ड में इंडिया का पोजिशन 200 था, अभी वर्ल्ड में 48 आ गया है. नेक्स्ट टू नेक्स्ट ओलिंपिक तक उम्मीद है.

प्रश्न : अभी जापान के टोक्यो में 2020 ओलिंपिक है और फिर 2024 में पेरिस ओलिंपिक भी है. देश में 2020 और 2024 ओलिंपिक को लेकर जो तैयारियां चल रही हैं, वो किस तरह की तैयारियां चल रही हैं और क्या आप उन तैयारियों से संतुष्ट हैं?

उत्तर : अभी पहले से अच्छी तैयारी चल रही है. पहले किसी तरह की फैसिलिटी नहीं थी. अभी बच्चा लोगों को फैसिलिटी दी जा रही है. पता नहीं ज्यादा एक्सपोजर होगा, तो अच्छा होगा. नेशनल कैंप है, फॉरेन कोच है, फॉरेन टूर है और दूसरा फिजियो है, मसाज है… कुछ है अभी, लेकिन एक्सपोजर की कमी है. एक्सपोजर हो, तो अच्छा होगा. एक्सपोजर में बाहर जाकर दौड़ना है.

प्रश्न : एक सवाल यह भी पैदा होता है कि क्रिकेट में आईपीएल आयोजित होता है, जिसमें देश-विदेश के खिलाड़ियों को मिलाकर टीम बनायी जाती है. …तो क्या इस देश में इस तरह देश-विदेश के खिलाड़ियों को मिलाकर कोई प्रयोग नहीं किया जा सकता?

उत्तर : ये तो आईपीएल जैसा नहीं है न क्रिकेट वाला. एथलेटिक्स क्रिकेट की तरह नहीं है न. इसमें सबसे ज्यादा कंपीटिशन चाहिए. यूरोप में अच्छा-अच्छा कंपीटिशन मिलता है. वहां जाकर पार्टिसिपेट करके अच्छा-अच्छा एक्सपोजर मिलना चाहिए.

प्रश्न : अच्छा, सरकार की ओर से जो फैसिलिटी मिलती है, वह किस-किस तरह की फैसिलिटी है और क्या आप उससे संतुष्ट हैं?

उत्तर : अभी तो बहुत फैसिलिटी मिलती है. मेरे टाइम में कुछ भी नहीं था. मैंने तो मास्को जा-जा के सीखा. अभी तो एवरी स्टेट, एवरी डिस्ट्रिक्ट में फैसिलिटी मिलती है. अभी तो फॉरेन ट्रेनर है, फिजियो है, मसाजर है. अभी तो सब कुछ है, लेकिन मेडल नहीं आ रहा. फैसिलिटी जो मिलना है, वो टैलेंट को मिलना है. तो वो जरा ठीक से देखना है और एक्सपोजर ज्यादा मिलना है. अगर फैसिलिटी और एक्सपोजर मिले, तो हमारे देश में एथलेटिक्स में मेडल आ सकता है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें