नैरोबी फपी: नैरोबी स्थित वेस्टगेट मॉल में जब जिहादी लड़ाके मौत और आतंक का तांडव मचा रहे थे, उसी समय नैरोबी का जैन समुदाय यहां कई दिनों तक चले आपातकालीन प्रयास के दौरान नेपथ्य का नायक बन कर उभरा. अलकायदा से संबंधित सोमालिया के अल शबाब आतंकी समूह ने 21 सितंबर को जब मॉल पर हमला किया, तो अहिंसा के मूल सिद्धांत पर चलने वाले जैन समुदाय ने पीड़ितों के लिए अपने दरवाजे खोल दिए.
इस मॉल के चारों ओर की फिजा में जिस समय गोलियों की आवाजें गूंज रही थीं, उसी समय यहां से करीब 100 मीटर की दूरी पर स्थित ओसवाल धार्मिक केंद्र इस हमले में जीवित बचे लोगों, सुरक्षा बलों और पत्रकारों के लिए सुरक्षित पनाहगाह बना हुआ था. विसा ओसवाल समुदाय के एक वरिष्ठ सदस्य भूप्रेंद्र शाह ने कहा, ‘‘हमारे पास लोगों के ठहराने और गाड़ियां खड़ी करने के लिए काफी जगह थी.’’