सिलीगुड़ी: बल मुख्यालय सशस्त्र सीमा बल नई दिल्ली के महानिरीक्षक (चिकित्सा) डॉ. सुरेन्द्र पाल निदेशक (चिकित्सा), ने कल एसएसबी सिलीगुड़ी सीमान्त मुख्यालय रानीडांगा परिसर में एक दिवसीय चिकित्सा शिक्षा सेमिनार का दीपोज्जलन एचवी मोहन्ती, महानिरीक्षक (चिकित्सा),केशव चन्द्र डोभाल, उपमहानिरीक्षक सीमान्त मुख्यालय सिलीगुड़ी एवं डॉ. प्रेम कुमार उपमहानिरीक्षक कम्पोसिट हास्पीटल पूर्णिया की उपिस्थति में किया.
डॉ. सुरेन्द्र पाल ने इस अवसर पर कहा कि इस चिकित्सकीय शिक्षा सेमिनार को आयोजित करने का उद्देश्य यह है कि सभी बलकर्मी विषम परिस्थितियों मे विभिन्न प्रकार के रोगों से बचाव कैसे कर सकते हैं,इसकी जानकारी उन्हें दी जाए. उन्होंने स्मरण कराते हुए कहा कि पिछले वर्ष एसएसबी के चार जवानों की चुनाव ड्यूटी के दौरान मलेरिया से मृत्यु हो गयी थी. इस सेमिनार को संचालन करने से बलकर्मियों, उनके परिवारों एवं भारत-भूटान एवं नेपाल सीमा पर रह रहे आम जनमानस के ज्ञान को बढ़ाने में काफी मदद मिलेगी और वे समय पर त्वरित कार्यवाही कर सकेंगे.
डॉ. एचवी मोहन्ती, महानिरीक्षक (चिकित्सा) सीमा सुरक्षा बल ने अभिभाषण में कहा कि भारत में बहुत सारी मौतें, सड़क दुर्घटनाओं, कैंसर, हृदय रोगों एवं मानसिक तनाव के कारण हो रही है. इस मानसिक तनाव को कम करने के लिए सशस्त्र बलों के डॉक्टर्स को गंभीरता से लेना चाहिए. उन्होंने कहा कि समय-समय पर बटालियन, वीओपी के जवानों की सोच को सकारात्मक दिशा देनी होगी. डॉ. आरडी गिरी, सेनानायक (चिकित्सा) 41वीं वाहिनी, एसएसबी ने मलेरिया के लक्षणों, उसके प्रकार, जानकारी एवं उपचार के बारे में विस्तार से चर्चा की तथा मलेरिया से ग्रस्त रोगियों को दिये जाने वाले प्राथमिक उपचार के विषय में भी जानकारियां दी.