39.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Trending Tags:

Advertisement

मालदा : तीन साल बाद मां को मिली ममता

पुलिस की तत्परता से मां को सुपुर्द की गयी बच्ची पांच दिन की बच्ची को आया ने बेच दिया था 25 हजार में मालदा : 12 फरवरी 2016 को मालदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल के शिशु विभाग से पांच दिन की एक बच्ची चोरी हो गयी थी. पुलिस की तत्परता से लंबे समय बाद बच्ची को […]

पुलिस की तत्परता से मां को सुपुर्द की गयी बच्ची
पांच दिन की बच्ची को आया ने बेच दिया था 25 हजार में
मालदा : 12 फरवरी 2016 को मालदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल के शिशु विभाग से पांच दिन की एक बच्ची चोरी हो गयी थी. पुलिस की तत्परता से लंबे समय बाद बच्ची को मां हाथों सुपुर्द किया गया. लंबी प्रक्रिया के बाद अदालत के निर्देश पर बच्ची को अब चाईल्ड वेलफेयर विभाग ने उसके मां-बाप को सौंप दिया है. जन्म के तीन साल बाद बच्ची को पाकर मां काफी भावुक हो गयी.
बुधवार को मालदा जिला चाईल्ड वेलफेयर कमेटी की चेयरपर्सन चैताली सरकार की उपस्थिति में बच्ची को उसके मां-बाप को सुपुर्द किया गया. पुलिस और चाईल्ड वेलफेयर सूत्रों ने बताया कि 12 फरवरी 2016 को ओल्ड मालदा थाने के भावुक गांव की निवासी सोनामनी किस्कू ने मालदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल में एक बच्ची को जन्म दिया था, जहां से अचानक रहस्यमय ढंग से बच्ची गायब हो गयी थी. बाद में मेडिकल कॉलेज के सीसीटीवी में एक महिला को बच्चे को चादर में लपेटकर ले जाते देखा गया. तीन साल तक यह जांच चली और आखिरकार गत तीन जनवरी को दक्षिण दिनाजपुर जिले के तपन थाने से उस बच्ची को बरामद किया गया.
पुलिस जांच के दौरान मालदा के फुलबड़िया इलाके की जहांआरा बीबी का नाम सामने आया. वह मेडिकल कॉलेज में आया का काम करती थी.
इसी का फायदा उठाकर उसने बच्चा चोरी किया. पुलिस की पूछताछ में उसने अपना अपराध स्वीकार किया. हालांकि पुलिस को लगता है कि इसके पीछे कोई संगठित गिरोह है. पुलिस जांच में पता चला है कि इस आया ने 25 हजार रूपये के बदले में तपन इलाके के एक दंपती को बच्चा बेचा था. उस समय उसकी उम्र केवल पांच दिन थी. अब यह बच्ची तीन साल की होने जा रही है. इतने दिनों बाद अपने बच्चे को पाकर मां-बाप फूटकर रो पड़े. उन्हें यकीन भी नहीं हो रहा था कि तीन साल बाद बच्चे को खोज निकालेगी.
मेडिकल कॉलेज के उप प्रचार्य अमित दा ने कहा कि आरोपी महिला आया का काम करती थी, लेकिन वह सरकारी कर्मचारी नहीं है. बहुत से रोगी के परिजन अपनी सुविधा के लिये काम देते थे. ऐसे मामलों में रोगियों के परिजनों को किसी पर भरोसा करने से पहले उसका परिचय अच्छे से जान लेना चाहिये. अपनी ओर से गलती करने के बाद मेडिकल कॉलेज प्रबंधन को दोषी ठहराने से बात नहीं बनेगी. लोगों को खुद भी सर्तक रहना होगा.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें