श्री हरिप्रसाद ने आरोप लगाया कि तीन वर्षों के भाजपा के शासनकाल में देश में कई घोटाले हुए. इनमें व्यापम घोटाला, छत्तीसगढ़ का पीडीएस घोटाला, ललित गेट, विजय माल्या का फरार होना, गुजरात का जीएसपीसी घोटाला, गुजरात भूमि घोटाला, अरुणाचल डैम घोटाला, कृत्रिम दाल घोटाला, राजस्थान का माइनिंग घोटाला, स्पेक्ट्रम रिकवरी घोटाला आदि शामिल हैं. अच्छे दिन के नाम पर सरकार में आने के बाद भ्रष्टाचार की रोकथाम के लिए कोई कदम नहीं उठाया गया. लोकपाल भी नियुक्त नहीं किया गया. इसके अलावा भारत की सुरक्षा से लगातार समझौता किया गया है.
कश्मीर में अलगाववादी नेताओं के साथ कांग्रेस के मणि शंकर अय्यर की मुलाकात के संबंध में श्री हरिप्रसाद का कहना था कि यदि कोई भारत का नागरिक है, तो उससे मुलाकात करने और बात करने में कोई गलती नहीं है. मौजूदा केंद्र सरकार को मूल मुद्दों से ध्यान भटका कर घर वापसी, गो रक्षा आदि मुद्दों पर जोर देने का आरोप भी उन्होंने लगाया. हालांकि श्री हरिप्रसाद ने बंगाल कांग्रेस की कांग्रेस आलाकमान के साथ तृणमूल के मुद्दे पर हो रहे विवाद के संबंध में उन्होंने कुछ भी कहने से इनकार किया.