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नहीं मिला सरकारी फरमान

झारखंड जा रहे दो दर्जन से अधिक आलू लदे वाहन पकड़ाये आसनसोल/सीतारामपुर : आलू के मुद्दे पर पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के आदेश का सरकारी फरमान 30 घंटे बीतने के बाद भी कोलकाता से आसनसोल नहीं पहुंच सका है. इसका परिणाम यह निकला है कि सीमावर्त्ती राज्यों में आलू प्रेषण की अनुमति मिलने […]

झारखंड जा रहे दो दर्जन से अधिक आलू लदे वाहन पकड़ाये
आसनसोल/सीतारामपुर : आलू के मुद्दे पर पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के आदेश का सरकारी फरमान 30 घंटे बीतने के बाद भी कोलकाता से आसनसोल नहीं पहुंच सका है. इसका परिणाम यह निकला है कि सीमावर्त्ती राज्यों में आलू प्रेषण की अनुमति मिलने के बाद भी शनिवार को इनफोर्समेंट विभाग के अधिकारियों ने नेशनल हाइवे दो से जा रहे आलू लदे दो दर्जन से अधिक ट्रकों को पक ड़ कर वापस भेज दिया. इन अधिकारियों का कहना है कि उन्हें मुख्यमंत्री का सरकारी फरमान नहीं मिला है. जब तक फरमान नहीं मिलेगा, वाहनों की धर-पक ड़ जारी रहेगी.
सनद रहे कि शुक्रवार को मुख्यमंत्री सुश्री बनर्जी ने आलू व्यवसायियों के साथ बैठक की थी. इसमें निर्णय लिया गया था कि झारखंड के लिए डिबुडीह के रास्ते आलू भेजा जायेगा. राज्य से रोजाना 1100 मीट्रिक टन आलू भेजने पर सहमति बनी. राज्य के विभिन्न बाजारों में दो सौ टन आलू भेजा जायेगा तथा बाजार में आलू की कीमत 15 रुपये प्रति किलो से अधिक नहीं होगी. इसके बाद व्यवसायियों ने अन्य राज्यों को आलू भेजना शुरू कर दिया.
व्यवसायियों का आरोप है कि मुख्यमंत्री के साथ बनी सहमति के बाद भी झारखंड जा रहे आलू के वाहनों को पक ड़ा जा रहा है. आसनसोल नॉर्थ थाना क्षेत्र के कालीपहाड़ी के निकट तथा कुल्टी थाना क्षेत्र के चौरंगी के पास इनफोर्समेंट विभाद के अधिकारियों ने क्रमश: दो दर्जन व आठ ट्रकों को पक ड़ लिया. चालकों व व्यवसायियों के प्रतिनिधियों के तमाम आग्रह के बाद भी इन वाहनों को नहीं छोड़ा गया. काफी समय तक रोके जाने के बाद इन वाहनों को वापस सिंगूर की ओर भेज दिया गया.
उनका कहना है कि जब मुख्यमंत्री के आदेश का भी पालन इस राज्य में नहीं होगा तो वे व्यवसाय किस आधार पर कर पायेंगे? उन्होंने कहा कि इस विभागीय कार्रवाई से उन्हें लाखों का घाटा हो रहा है. वाहनों पर लदा आलू सड़ने लगता है तथा राज्य स्तर से कोई मुआवजा भी नहीं मिलता है. उन्होंने कहा कि इसकी शिकायत संगठन के माध्यम से मुख्यमंत्री से की जायेगी.
अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त (सेंट्रल) विश्वजीत घोष ने कहा कि राज्य सरकार ने पहले आदेश दिया था कि अन्य राज्यों को भेजे जानेवाले आलू को पक ड़ कर उन्हें वापस भेजा जाये. इसके बाद यह अभियान चल रहा है. मुख्यमंत्री के साथ व्यवसायियों की बैठक में हुए निर्णय की सरकारी सूचना उनके पास नहीं है. आदेश् आते ही उसे लागू किया जायेगा.
इधर आलू व्यवसायियों की हड़ताल समाप्त होने के बाद भी बाजार में आलू की आपूर्त्ति सामान्य नहीं हो पायी है. शनिवार को आलू की कीमत में कुछ गिरावट आयी है, लेकिन इससे ग्राहकों को कुछ खास राहत नहीं है. बाजार में आलू का खुदरा भाव 23 से 24 रुपये प्रति किलो के भाव से बिका.

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