कोलकाता: केंद्र सरकार द्वारा चिट फंड विधेयक को लौटाने की खबरों के बीच पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शुक्रवार को कहा कि राष्ट्रपति की सहमति के लिए भेजे गये विधेयक पर कुछ स्पष्टीकरण मांगे गये हैं.
ममता बनर्जी ने शुक्रवार को राइटर्स में संवाददाताओं से कहा : केंद्र ने विधेयक नहीं लौटाया है. विधेयक बिल्कुल सही है. केंद्र ने केवल तीन बिंदुओं पर स्पष्टीकरण मांगा है. वे इस तरह का स्पष्टीकरण मांग सकते हैं. यह उनका विशेषाधिकार है. जिन तीन बिंदुओं पर स्पष्टीकरण मांगा गया है.
उनमें विशेष अदालतों की शक्तियों बढ़ाना और अदालत द्वारा अग्रिम जमानत को मंजूरी नहीं देना शामिल है. इसके साथ ही केंद्र ने अपराधों पर नये प्रावधान का सुझाव दिया है.
उन्होंने कहा कि हमने आज बैठक की और केंद्र के सभी तीन बिंदुओं पर सहमति जतायी. हम अपना जवाब भेज रहे हैं. हमें उम्मीद है कि केंद्र विलंब नहीं करेगा और हमारे विधेयक को राष्ट्रपति की सहमति के लिए भेज देगा. तृणमूल कांग्रेस की सरकार ने वित्तीय संस्थानों में पश्चिम बंगाल निवेशक हित संरक्षण विधेयक 2013 बनाकर इसे 30 अप्रैल को राज्य विधानसभा में पास करा दिया. सारधा चिट फंड घोटाले के बाद यह विधेयक तैयार किया गया.
वाम और कांग्रेस दलों की आलोचना पर उन्होंने कहा कि उनकी सरकार सतर्क है और सारधा चिटफंड घोटाले के सिलसिले में विधेयक को तुरंत पास करा लिया गया. उन्होंने कहा कि इस संबंध में उन्होंने बैठक की और केंद्र के सभी तीन प्रस्तावों को राज्य सरकार ने स्वीकार लिया है. बैठक में राज्य की कानून मंत्री चंद्रिमा भट्टाचार्य, वित्त मंत्री अमित मित्र, गृह सचिव बासुदेव बनर्जी उपस्थित रहे.