कोलकाता : सबंग की दसवीं की छात्रा पल्लवी दत्त की अस्वाभाविक मौत की घटना की जांच का जिम्मा सीआइडी को कलकत्ता हाइकोर्ट ने दिया है. सबंग थाने के जांच अधिकारी को 24 घंटे के भीतर मामले के सभी कागजात आदि को सीआइडी को सौंप देने का निर्देश न्यायाधीश राजशेखर मांथा ने दिया है. साथ ही […]
कोलकाता : सबंग की दसवीं की छात्रा पल्लवी दत्त की अस्वाभाविक मौत की घटना की जांच का जिम्मा सीआइडी को कलकत्ता हाइकोर्ट ने दिया है. सबंग थाने के जांच अधिकारी को 24 घंटे के भीतर मामले के सभी कागजात आदि को सीआइडी को सौंप देने का निर्देश न्यायाधीश राजशेखर मांथा ने दिया है. साथ ही सीआइडी के एडीजी को चार हफ्ते के भीतर मौत की जांच की रिपोर्ट को अदालत में जमा देने का निर्देश दिया है.
सोमवार को मामले की सुनवाई में याचिकाकर्ता मृतका की मां अष्टमी दत्त के वकील जयंत नारायण चट्टोपाध्याय ने कहा कि गत वर्ष आठ नवंबर को सबंग के डेमुआ गर्ल्स हाई स्कूल के होस्टल में रहने के दौरान पल्लवी की अस्वाभाविक मौत हुई थी. सबंग थाने की पुलिस ने मामले की जांच शुरू की थी, लेकिन जांच में लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए पश्चिम मेदिनीपुर के देबरा के रहनेवाले पल्लवी के मां-बाप ने निचली अदालत में याचिका दायर की थी.
सरकारी वकील का कहना था कि जांच कार्य पूरा हो गया है. अब केवल चार्जशीट पेश करनी बाकी है. जांच में पुलिस को पता चला है कि पल्लवी ने पारिवारिक कारणों के चलते आत्महत्या की थी. मृत छात्रा के दोस्तों के बयान भी रिकॉर्ड किये गये हैं. याचिकाकर्ता के वकील ने इसका विरोध करते हुए पुलिस की जांच पर सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि छात्रा ने जिस गमछे का इस्तेमाल आत्महत्या के लिए किया था वह किसका है, पुलिस ने इसकी जांच नहीं की. मौत के बाद जीभ भी नहीं निकली थी. पैर के जूते भी स्वाभाविक थे. लड़की के गाल पर थप्पड़ मारे जाने के निशान हैं. पुलिस ने इसकी भी जांच नहीं की. यहां तक कि मौत के बाद शव को माता-पिता को न दिखाकर उसे थाने ले जाया गया. एफआइआर नहीं करने के लिए परिवारवालों को परेशान भी किया गया.