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संस्कृति के संरक्षण में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है आरबीयू
रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी के 43वें दीक्षांत समारोह में बोले राज्यपाल कोलकाता : रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी का 43वां दीक्षांत समारोह मंगलवार को जोड़ासांकू कैम्पस में आयोजित किया गया. इस मौके पर यूनिवर्सिटी के चांसलर राज्यपाल केशरीनाथ त्रिपाठी ने कहा कि राज्य के कई विश्वविद्यालय भारतीय इतिहास से जुड़े हुए हैं. राज्य व देश के लाखों छात्रों […]
रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी के 43वें दीक्षांत समारोह में बोले राज्यपाल
कोलकाता : रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी का 43वां दीक्षांत समारोह मंगलवार को जोड़ासांकू कैम्पस में आयोजित किया गया. इस मौके पर यूनिवर्सिटी के चांसलर राज्यपाल केशरीनाथ त्रिपाठी ने कहा कि राज्य के कई विश्वविद्यालय भारतीय इतिहास से जुड़े हुए हैं. राज्य व देश के लाखों छात्रों का भविष्य संवारने में इन विश्वविद्यालयों की महत्वपूर्ण भूमिका है.
भारतीय संस्कृति और विरासत के संरक्षण में रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी (आरबीयू) भी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है. जोड़ासांको परिसर में विश्वविद्यालय के 43वें दीक्षांत समारोह को संबोधित करते हुए त्रिपाठी ने कहा कि राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद (एनएएसी) से 2016 में ‘ए’ ग्रेड हासिल करनेवाले विश्वविद्यालय में उत्कृष्टता का केंद्र बनने की पूरी संभावना है.
उन्होंने कहा कि दूसरे देशों के साथ भारत की सांस्कृतिक कूटनीति को बनाने और बरकरार रखने में आरबीयू महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है. यहां प्राध्यापकों के रूप में बांग्लादेश और श्रीलंका जैसे दक्षिण पूर्व एशियाई देशों के विद्वान हैं. छात्रों के समग्र विकास के लिये आधुनिक तकनीकों को अपनाने के महत्व पर बल देते हुए राज्यपाल ने कहा कि डिजिटाइजेशन वक्त की मांग है, लेकिन बदलावों को अपनाते हुए छात्रों को अपने अतीत को नहीं भूलना चाहिए.
शिक्षा व डिग्री हासिल करने के बाद उनको समाज को भी कुछ देना है, इस दायित्व का भी वे हमेशा पालन करें. रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी के जोड़ासांको कैम्पस में कई छात्र व शिक्षाविद उपस्थित रहे. समारोह में मुख्य अतिथि के तौर पर एसोसिएशन ऑफ इंडियन यूनिवर्सिटीज के महासचिव प्रोफेसर फरकान कामर ने भी अपने विचार व्यक्त किये.
दीक्षांत समारोह में भारत के प्रसिद्ध शास्त्रीय वोकलिस्ट पंडित आमिया रंजन बंद्योपाध्याय को डी लिट (ऑनरिज क्वाजा) देने के साथ प्रसिद्ध लेखक प्रोफेसर नवनीता देव सेन व जाने-माने पेन्टर जतिन दास को भी डी लिट (ऑनरिज क्वाजा) से सम्मानित किया गया.
हीराचंद दुगड़ मेमोरियल अवॉर्ड 2018 रवींद्रनाथ मंडल को प्रदान किया गया. वेस्ट बंगाल स्टेट एकेडमी ऑफ डांस, ड्रामा, म्यूजिक एंड विजुअल आर्ट्स अवॉर्ड्स डांसर पूर्णिमा घोष, थियेटर व्यक्तित्व पंकज कुमार मुंशी, गायिका रूमा गुहा ठाकुरता, गायक व प्रोफेसर निरंजन प्रधान लोक कला अनुसंधान के लिए आचार्य दिनेश चंद्रा सेन मेमोरियल अवॉर्ड डॉ सुखबिलास बर्मा को दिया गया. कार्यक्रम में 95 स्कॉलरों को पीएचडी की डिग्री प्रदान की गयी. इस वार्षिक दीक्षांत समारोह कार्यक्रम में 99 स्कॉलरों को एमफिल डिग्री प्रदान की गयी. रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी के 39 विद्वानों को मेडल देकर सम्मानित किया गया.
समारोह में रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर प्रोफेसर सब्यसाची बसु राय चौधरी ने यूनिवर्सिटी की एकेडमिक वार्षिक रिपोर्ट को पढ़ कर सुनाया व यूनिवर्सिटी की विकास योजनाओं की चर्चा की. योग्य छात्रों को डिग्री, डिप्लोमा के साथ मेडल व पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया. रवींद्र भारती यूनिवर्सिटी के रजिस्ट्रार देवदत्ता राय ने कहा कि यूनिवर्सिटी में नये विभागों का विस्तार किया गया है.
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