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कोलकाता : तेलेभाजा बनाम पकोड़े पर चर्चा तेज

मोदी के पकोड़े बेचने की सलाह पर बिफरी तृणमूल कांग्रेस लगाया आइडिया हाइजैक करने का आरोप कोलकाता : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के बेरोजगार नौजवानों को रोजगार के लिए पकौड़े बेचने की सलाह दी, तो विरोधी दल इसके खिलाफ मैदान में आ गये हैं. इधर, तृणमूल कांग्रेस के अंदरखाने में इस बात की चर्चा […]

मोदी के पकोड़े बेचने की सलाह पर बिफरी तृणमूल कांग्रेस

लगाया आइडिया हाइजैक करने का आरोप
कोलकाता : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के बेरोजगार नौजवानों को रोजगार के लिए पकौड़े बेचने की सलाह दी, तो विरोधी दल इसके खिलाफ मैदान में आ गये हैं.
इधर, तृणमूल कांग्रेस के अंदरखाने में इस बात की चर्चा तेज है कि प्रधानमंत्री ने दीदी यानी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की योजना को हाइजैक कर अपने नाम से चलाने का प्रयास कर रहे हैं. क्योंकि दीदी अपनी दूरदृष्टि से इस क्षेत्र में व्यापक संभावना को देखते हुए बहुत पहले तेलेभाजा की दुकान खोलने की नसीहत दे चुकी हैं.
प्रधानमंत्री को आज उनकी बात समझ में आयी, इसलिए वह अब लोगों से पकौड़े बिकवा रहे हैं. इसके साथ ही तृणमूल कांग्रेस के नेता कह रहे हैं कि बात-बात पर केंद्र सरकार और भाजपा के नेता आरोप लगाते हैं कि उनकी योजनओं को राज्य सरकार अपना नाम लेकर चला रही है. ऐसे में अब वे नेता क्या कहेंगे कि पकौड़ा बेचने का कंसेप्ट कौन किससे लिया है.
उल्लेखनीय है कि 11 फरवरी 2015 में हावड़ा में आयोजित एक सभा में मुख्यमंत्री ने नौजवानों को किसी नौकरी के पीछे भागने की बजाय खुद का रोजगार सृजन करने की सलाह दी थी. उनके मुताबिक किसी सड़क के किनारे कम पूंजी में नौजवान तेलेभाजा (पकौड़े) की दुकान लगाकर अच्छी आमदनी कर सकते हैं. इस मामले में मुख्यमंत्री ने अपने मुहल्ले के एक पकौड़े वाले का उदाहरण देते हुए कहा कि वह आदमी केवल पकौड़ा बेचकर आज बिल्डिंग का मालिक बना हुआ है.
उसकी आमदनी से उसका पूरा परिवार तो चलता ही है, साथ में उसके यहां काम करनेवालों के परिवार का भी भरण-पोषण होता है. उसका हवाला देते हुए मुख्यमंत्री नौजवानों को तेलेभाजा की दुकान चलाने की नसीहत दी थी. मुख्यमंत्री की इस योजना के तीन साल बाद अब प्रधानमंत्री इस बात को सामने लाते हुए नौजवानों से पकौड़ा बेचने को कह रहे हैं.
तृणमूल कांग्रेस के एक नेता ने नाम नहीं छापने की शर्त पर कहा कि यह सीधे कापीराइट उल्लंघन जैसा मामला है. योजना मुख्यमंत्री की है और डफली प्रधानमंत्री पीट रहे हैं. ऊपर से वह आरोप लगाते हैं कि उनकी योजनाओं को पश्चिम बंगाल में हाइजैक कर लिया जाता है.
इस मुद्दे को लेकर तृणमूल कांग्रेस के नेता जनता के बीच जाने की जरूरत बता रहे हैं. हालांकि इस मुद्दे पर भाजपा का कोई भी नेता कुछ बोलने को तैयार नहीं है. सवाल सुनकर लोग मुस्करा कर रह जा रहे हैं. अब राजनीतिक गलियारें में चर्चा का विषय बन गया है कि तेलेभाजा और पकौड़े पर किसका कापीराइट होगा.

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