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विमल को पार्टी के अंदर से एक और झटका

दार्जिलिंग. गोरखा जनमुक्ति मोर्चा (गोजमुमो) के विमल गुरुंग और विनय तमांग गुटों के बीच विभाजन की खाई लगातार गहरी होती जा रही है. तकभर जीटीए क्षेत्र को विमल गुरुंग का किला माना जाता है. इसी तकभर के गोजमुमो अध्यक्ष प्रवीन सांपांग के गोजमुमो से इस्तीफे से विमल गुरुंग और पार्टी दोनों को बड़ा झटका लगा […]

दार्जिलिंग. गोरखा जनमुक्ति मोर्चा (गोजमुमो) के विमल गुरुंग और विनय तमांग गुटों के बीच विभाजन की खाई लगातार गहरी होती जा रही है. तकभर जीटीए क्षेत्र को विमल गुरुंग का किला माना जाता है. इसी तकभर के गोजमुमो अध्यक्ष प्रवीन सांपांग के गोजमुमो से इस्तीफे से विमल गुरुंग और पार्टी दोनों को बड़ा झटका लगा है. गोजमुमो प्रमुख विमल गुरुंग का गांव पातलेबास भी तकवर क्षेत्र में ही आता है. पिछले जीटीए चुनाव में इसी क्षेत्र से विमल गुरुंग चुनावी मैदान में उतरे थे और भारी मतों से विजयी हुए थे.
तकभर के पार्टी अध्यक्ष प्रवीन सांपांग ने पार्टी में अनुशासन और लोकतंत्र की कमी का हवाला देते हुए अपने पद से इस्तीफा दिया है. श्री सांपांग द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति में 104 दिनों के बेमियादी बंद का जिक्र करते हुए कहा गया है कि बंद के दौरान जनता ने पूरा योगदान दिया. इतना जन समर्थन होने के बावजूद हमारा शीर्ष नेतृत्व केंद्र सरकार पर दबाव बनाने में कामयाब नहीं हुआ.

केंद्र सरकार ने राज्य सरकार के साथ बात करने का सुझाव दिया, जिससे साफ जाहिर होता है कि राज्य सरकार के साथ लड़ाई-झगड़ा करके कोई फायदा मिलने वाला नहीं है. आंदोलन गांधीवादी तरीके से होना चाहिए.उन्होंने कहा, संवैधानिक मांग को लेकर लोकतांत्रिक एवं अनुशासित प्रकार से कार्य करने से सफलता मिल जाती है और मुझे इस पर विश्वास भी है. लेकिन वर्तमान में पार्टी की कार्यनीति एवं क्रियाकलाप कुछ और है, इसीलिए मैंने तकभर क्षेत्र के अध्यक्ष के पद से इस्तीफा देने का निर्णय लिया है.

भारती तमांग तीन साल के लिए निष्कासित
दार्जिलिंग. अखिल भारतीय गोरखा लीग (अभागोली) ने पार्टी अध्यक्ष भारती तमांग और उपाध्यक्ष लक्ष्मण प्रधान को बाहर का रास्ता दिखा दिया है. पार्टी के केंद्रीय पोलित ब्यूरो ने दोनों पर पार्टी के अनुशासन के उल्लंघन का आरोप लगाते हुए उन्हें तीन साल के लिए निष्कासित कर दिया है. यह जानकारी पार्टी के केंद्रीय महासचिव प्रताप खाती ने दी है. उन्होंने बताया कि केंद्रीय पोलित ब्यूरो की बैठक में पार्टी को मजबूत करने के लिए एसके प्रधान को अध्यक्ष, मीना सुब्बा को उपाध्यक्ष और फुर्बा बम्जन को सह-सचिव चुना गया.
उल्लेखनीय है कि गत सितंबर महीने में राज्य सरकार ने दार्जिलिंग पहाड़ की परिस्थिति को लेकर सिलीगुड़ी के उत्तरकन्या में द्विपक्षीय बैठक बुलायी थी. आरोप है कि इस बैठक में पार्टी की अनुमति के बगैर भारती तमांग, लक्ष्मण प्रधान, विप्लव राई और पृथ्वीराज लिम्बू ने भाग लिया था. इसके बाद गोरखा लीग केंद्रीय कमेटी ने पार्टी केंद्रीय कार्यालय में बैठक बुलायी, जिसमें भारती तमांग को तीन महीने, लक्ष्मण प्रधान को तीन साल और विप्लव राई और पृथ्वीराज लिम्बू को छह-छह महीने के लिए निलंबित कर दिया गया. 16 अक्तूबर को राज्य सरकार द्वारा कोलकाता के नवान्न में बुलायी गयी सर्वदलीय बैठक में भी ये लोग शामिल हुए. जिसके बाद गोरखा लीग केन्द्रीय पोलित ब्यूरो कमेटी की बैठक करके भारती तमांग और लक्ष्मण प्रधान को तीन-तीन साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया.

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