दाजिर्लिंग: मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने दार्जिलिंग के सार्विक विकास के लिए सभी की सहयोगिता की अपील की हैं. मुख्यमंत्री ने कहा कि जल्द ही दार्जिलिंग के विकास मुद्दे पर जीटीए, एमएलए, एमपी, नगरपालिका व सरकारी दफ्तरों के अधिकारियों को लेकर एक रिव्यू बैठक की जायेगी.
इस बैठक में जीटीए सदस्यों को भी शामिल करने की घोषणा से लोगों में आश्चर्य है,क्योंकि जीटीए पर गोजमुमो का कब्ज है और गोजमुमो प्रमुख विमल गुरूंग के साथ ममता बनर्जी की दूरी किसी से छिपी नहीं है. आज दोपहर को बारिश के बीच मुख्यमंत्री दार्जिलिंग के चौरास्ता पर आयोजित सरकारी कार्यक्रम से जनता को संबोधित कर रही थी. उन्होंने कहा कि पहाड़ में राजनीति रहेगी, लेकिन यह राजनीति पहाड़ के विकास में बाधा डाले, ऐसा वह नहीं चाहती हैं.
राज्य सरकार अपनी अख्तिायार पर काम करेंगी. पहाड़वासी चाहते हैं कि जीटीए व नगरपालिका ही अपने इलाकों का विकास करें. राज्य सरकार ने 90 सरकारी विभागों को जीटीए में हस्तांतरित किया हैं. मुख्यमंत्री ने साफ कहा कि वोट के लिए वह पहाड़ का विकास नहीं कर रही हैं, बल्कि पहाड़ के लोगों के प्रति प्यार के कारण ही वह यहां का विकास कर रही हैं. मुख्यमंत्री ने आज यहां बलासान पेयजल परियोजना का उद्घाटन किया.
जिसमें 700 करोड़ रुपये खर्च हुए हैं. सिलीगुड़ी में सफारी पार्क व श्रमिक भवन का शिलान्यास भी उन्होंने किया. लेप्चा विकास बोर्ड के बाद अब तामांग विकास बोर्ड के गठन करने की घोषणा भी उन्होंने की. उत्तर बंगाल की सड़कों की बदहाली को लेकर भी उन्होंने चिंता जतायी. उन्होंने पहाड़ के युवा व युवतियों को युवश्री व कन्याश्री परियोजना में नाम पंजीकृत कराने के लिए कहा. उन्होंने कहा कि अगर पहाड़ में शांति रहती हैं तो पर्यटन व अन्य क्षेत्र में पहाड़वासियों का रोजगार बढ़ेगा. मुख्यमंत्री ने आज तामांग संप्रदाय के एक हजार लोगों को नया आवास भी प्रदान किया. मुख्यमंत्री ने एक बार फिर कहा कि उत्तर बंगाल के बंद चाय बागानों को खोलने के सभी प्रयास किये जायेंगे. उन्होंने चाय बागान श्रमिकों के लिए केंद्र सरकार से विशेष पैकेज की मांग दोहरायी. जीटीए के प्रति अपना सुर नरम करते हुए उन्होंने आगे कहा कि दार्जिलिंग पर्वतीय क्षेत्र में जीटीए को विकास का काम करना चाहिए. इसके लिए राज्य सरकार उन्हें हर सहयोग देने के लिए तैयार है.
इसके अलावा राज्य सरकार द्वारा भी विकास के कार्य किये जाने की बात भी मुख्यमंत्री ने कहीं. उन्होंने आगे कहा कि अब तक दार्जिलिंग पर्वतीय क्षेत्र की उपेक्षा की गयी थी. पूर्ववर्ती वाम मोरचा सरकार ने पहाड़ के विकास के लिए कभी कुछ नहीं किया. उनके सत्ता में आने के बाद से पहाड़ पर विकास का काम हो रहा है. उन्होंने लोगों से पहाड़ पर शांति बनाये रखने की अपील की. उनका कहना था कि पहाड़ पर शांति आने के बाद से भारी संख्या में पर्यटक भी आ रहे हैं. जिसकी वजह से यहां के लोगों का आर्थिक विकास हो रहा है. आने वाले दिनों में भी यदि यहां शांति बनी रहती है तो विकास के और भी कई काम होंगे. मुख्यमंत्री की जनसभा में बारिश के बावजूद भारी भीड़ थी. जनसभा में पंचायत व पीएचई मंत्री सुब्रत मुखर्जी,उत्तर बंगाल विकास मंत्री गौतम देव व मुख्य सचिव संजय मित्र आदि उपस्थित थे.