घटना के बाद पता चला कि वायरलेस विभाग के जिस दारोगा ने गेट को तोड़ा था, वह मानसिक रूप से बीमार है. वायरलेस एसपी के आदेश पर उसकी ड्यूटी प्रोजेक्ट बिल्डिंग स्थित स्टेट कंट्रोल रूम में लगायी गया थी. 15 अगस्त को वह कंट्रोल रूम से निकल कर प्रोजेक्ट बिल्डिंग के पहले तल्ले पर पहुंचा. सीएम सचिवालय नहीं खुले होने पर उसने शीशे के दरवाजे को तोड़ दिया. वह कह रहा था कि उसे मंत्रिमंडल का गठन करना है.
घटना की जानकारी मिलने के बाद प्रोजेक्ट बिल्डिंग की सुरक्षा में तैनात जवानों ने दारोगा को नीचे लाया. फिर वायरलेस एसपी को घटना की जानकारी दी. पूरे घटनाक्रम की रिपोर्ट वायरलेस डीआइजी को भेज दी गयी है. पुलिस के सीनियर अफसर इस घटना को सीएम की सुरक्षा से भी जोड़ कर देख रहे हैं. जिस दारोगा ने गेट को तोड़ा है, उसकी मानसिक स्थिति पहले भी खराब हुई थी. बावजूद इसके दारोगा की तैनाती प्रोजेक्ट बिल्डिंग के स्टेट कंट्रोल रूम जैसे महत्वपूर्ण स्थान पर की गयी.