श्री बहुगुणा ने बताया कि दो सप्ताह से पहले ही अर्सिल ने पावर प्लांट क्षेत्र को अपने अधिकार में ले लिया है. गौरतलब है कि पूर्व में इस पावर प्लांट का निर्माण अभिजीत ग्रुप द्वारा किया जा रहा था. पर बैंकों को कर्ज न चुकाने की वजह से वर्ष 2012 से अभिजीत ग्रुप ने पावर प्लांट की गतिविधि ठप कर दी. इसके बाद लोन देने वालेे बैंकर्स समिति और वित्तीय संस्थानों ने पांच हजार करोड़ के लोन को अर्सिल के हाथों बेच दिया. इसके बाद पिछले दिनों अर्सिल ने लगभग 600 एकड़ में बनने वाले पावर प्लांट का अधिग्रहण कर लिया है. वहां अपने सुरक्षाकर्मी तैनात कर दिया है.
यहां 1100 मेगावाट का पावर प्लांट लगना है. दो चरणों में इसे पूरा किया जाना है. श्री बहुगुणा ने कहा कि कोल लिंकेज व प्लांट चलाने के लिए राज्य सरकार से सहयोग की अपेक्षा है. वह ऊर्जा सचिव व मुख्य सचिव से भी मिलेंगे. बाद मुख्यमंत्री से भी मिलेंगे. सरकार सहयोग करेगी तो 18 माह में पावर प्लांट आरंभ हो जायेगा. श्री बहुगुणा ने कहा कि पुराने कर्मचारियों में कुछ लोगों को रखा गया है.उन्होंने कहा कि राज्य सरकार मुंबई में नये पावर प्लांट की घोषणा करती है. पर यहां पांच हजार करोड़ के पावर प्लांट को खोलने की दिशा में भी प्रयास किया जाना चाहिए. अर्सिल के बाबत सीइओ ने बताया कि वर्ष 2002 में कर्ज वसूली के एक्ट आने के बाद अर्सिल कंपनी खुली है. जो बैंकों का एनपीए हो जाता है. अर्सिल वैसे एनपीए को खरीद लेता और अपने स्तर से उक्त संपत्ति का पुननिर्माण करता है. इसका मुख्यालय मुंबई में है.