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10 माह में सिर्फ 1588 शिकायतें
हाल झारखंड ऑनलाइन एफआइआर सिस्टम का उम्मीद के अनुरूप नहीं आ रही लोगों की शिकायतें रांची : 10 माह पहले मई 2015 को झारखंड पुलिस ने ऑन लाइन शिकायत दर्ज करने के लिए झारखंड ऑन लाइन एफआइआर सिस्टम (जोफ्स) को लांच किया था. 10 माह बाद अब तक कुल 1588 शिकायतें पुलिस तक पहुंची हैं. […]
हाल झारखंड ऑनलाइन एफआइआर सिस्टम का
उम्मीद के अनुरूप नहीं आ रही लोगों की शिकायतें
रांची : 10 माह पहले मई 2015 को झारखंड पुलिस ने ऑन लाइन शिकायत दर्ज करने के लिए झारखंड ऑन लाइन एफआइआर सिस्टम (जोफ्स) को लांच किया था. 10 माह बाद अब तक कुल 1588 शिकायतें पुलिस तक पहुंची हैं.
शुरू के पांच माह में एक हजार से अधिक शिकायतें आयीं. इसके बाद से ऑनलाइन शिकायत की संख्या में कमी आने लगी. शुरू में कुछ लोगों ने ट्रायल करने के उद्देश्य से अपनी शिकायत दर्ज करायी, जिसे बाद में जांच के दौरान निरस्त कर दिया गया. जोफ्स को राज्य भर के प्रज्ञा केंद्रों से भी जोड़ा गया था. इसके लिए अलग से सॉफ्टवेयर की खरीदारी की गयी थी. जिस पर लाखों रुपये का खर्च हुए थे, लेकिन प्रज्ञा केंद्रों के माध्यम से नहीं के बराबर शिकायतें आयी हैं.
प्रचार-प्रसार भी नहीं हुआ
पुलिस मुख्यालय ने जोफ्स के प्रचार-प्रसार को लेकर खास दिलचस्पी नहीं दिखायी. यही कारण है कि ऑन लाइन एफआइआर का सिस्टम से लोगों को उतना लाभ नहीं मिल रहा है, जितनी उम्मीद की गयी थी. 10 माह में एक बार भी मुख्यालय स्तर से इस बात की समीक्षा नहीं की गयी कि जोफ्स का रेस्पांस क्या रहा.
अपडेट नहीं हो रही सीआइडी की साइट
जोफ्स की तरह ही करीब दो साल पहले राज्य पुलिस ने अपराध अनुसंधान विभाग (सीआइडी) की साइट शुरू की थी. इस साइट पर अपराध से जुड़ी जानकारी डाली जाती है, लेकिन आज की तारीख में इस साइट को भी अपडेट करने का काम बंद हो गया है. 12 मार्च 2016 तक साइट पर वर्ष 2015 का अपराध आंकड़ा अपडेट नहीं किया गया है. नवंबर 2015 तक का ही आंकड़ा इस साइट पर उपलब्ध हैै.
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