रांची: झारखंड हाइकोर्ट में सोमवार को आइएएस को-ऑपरेटिव हाउसिंग सोसाइटी को कम मूल्य पर जमीन आवंटित करने को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई.
जस्टिस डीएन पटेल व जस्टिस पीपी भट्ट की खंडपीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए राज्य सरकार व झारखंड राज्य आवास बोर्ड को शपथ पत्र दायर कर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया. खंडपीठ ने पूछा कि राज्य में आवास नीति है या नहीं.
आवासीय उद्देश्य से जरूरतमंद लोगों को किस प्रकार से जमीन आवंटित की जाती है. मामले की अगली सुनवाई 13 जनवरी को होगी. सुनवाई के बाद अधिवक्ता राजीव कुमार ने बताया कि खंडपीठ ने आवास बोर्ड के प्रबंध निदेशक को प्रतिवादी बनाया है.
उन्हें निर्देश दिया कि वह अगले आदेश तक बिल्डर, कंपनी, संस्था या व्यक्तिगत रूप से जमीन, प्लॉट या फ्लैट आवंटित (सेल, मॉरगेज या लीज) नहीं करे. यह भी पूछा कि कंपनी, बिल्डर या संस्था को पूर्व में बोर्ड ने जमीन दी है या नहीं. उल्लेखनीय है कि प्रार्थी विशाल कुमार ने जनहित याचिका दायर की है. कहा है कि आइएएस को-ऑपरेटिव हाउसिंग सोसाइटी को कम मूल्य पर कांके अंचल के सांगा मौजा में लगभग 74 एकड़ जमीन दी गयी है. सोसाइटी को दी गयी जमीन वापस लेने का आग्रह किया है.