27.4 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

5 दिसंबर ऑनलाइन वास्तु काउंसलिंग

रोगों को बुलावा देता है दक्षिण-पश्चिम कोने का नीचा होना रांची : ऑनलाइन वास्तु काउंसलिंग का आयोजन शुक्रवार को प्रभात खबर कार्यालय में किया गया जहां वास्तुविद रेणु शर्मा ने पाठकों के सवालों के जवाब दिये. उन्होंने बताया कि वास्तुशास्त्र के अनुसार किसी भी वास स्थान में यदि दक्षिण और पश्चिम दिशा बढ़ा हो या […]

रोगों को बुलावा देता है दक्षिण-पश्चिम कोने का नीचा होना रांची : ऑनलाइन वास्तु काउंसलिंग का आयोजन शुक्रवार को प्रभात खबर कार्यालय में किया गया जहां वास्तुविद रेणु शर्मा ने पाठकों के सवालों के जवाब दिये. उन्होंने बताया कि वास्तुशास्त्र के अनुसार किसी भी वास स्थान में यदि दक्षिण और पश्चिम दिशा बढ़ा हो या किसी कारणवश कटा हो तो गृहस्वामी व परिवार के सदस्यों के लिए नुकसानदेह होता है.यह कई असाध्य रोगों को बुलावा देता है. वास्तुशास्त्र के अनुसार जमीन के टुकड़े या रहने वाले स्थान, कार्यालय, स्कूल, हॉस्पिटल, दुकान आदि का दक्षिण-पश्चिम यानी नैऋृर्त्य कोण नीचा हो तो उस स्थान के स्वामी के लिए यह शुभ संकेत नहीं है. यदि भूखंड का सिर्फ दक्षिण भाग या फिर सिर्फ पश्चिम भाग बढ़ा हो तो यह भी शुभ नहीं है. इस दिशा में वास्तुदोष होने से अनेक प्रकार के असाध्य रोग के अलावा गठिया, साइटिका, मधुमेह आदि रोग होता है. इसके अलावा किसी परिस्थितिवश पश्चिम दिशा में बना मुख्य दरवाजा का मुंह दक्षिण-पश्चिम दिशा की ओर बना हो तो किसी दुर्घटना या शारीरिक कष्ट को निमंत्रण देता है. आपसी कलह, धन की हानि, कर्ज इत्यादि भी इस कोण के बढ़ने-घटने या नीचा या खुला होने के कारण हो सकता है. यदि भूखंड का पूरा ढाल नैत्रृर्त्य कोण की ओर हो तो भी गृहस्वामी, घर की महिलाओं को आर्थिक व शारीरिक कष्ट होने की संभावना बन जाती है. घर की नाली या वर्षा जल के निकलने का रास्ता दक्षिण-पश्चिम में नहीं होना चाहिए.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें